कभी तो तुम्हे मेरी याद आयेगी
कभी तो तुम्हे ,मेरी याद आयेगी।
होगे जब तन्हा मेरी याद सतायेगी
सावन जब जब आयेगा,
काली घटाएं घिर जाएंगी।
बिजली चमकेगी आसमां में,
मेरी शक्ल याद आयेगी।
कभी तो तुम्हे मेरी याद आयेगी,
होगे जब तन्हा मेरी याद सतायेगी
जाओगे जब बिस्तर पर,
रात अंधेरी हो जायेगी।
ढूंढोगे जब तुम मुझको,
मेरी महक तुम्हे आयेगी।
कभी तो तुम्हे मेरी याद आयेगी,
होगे जब तन्हा मेरी याद सतायेगी
होगे न जब इस दुनिया मे,
बस मेरी राख रह जायेगी।
ढूंढोगे जब राख मे मुझको,
मेरी शक्ल नजर आयेंगी।।
कभी तो तुम्हे मेरी याद आयेगी,
होगे जब तन्हा मेरी याद सतायेगी
आर के रस्तोगी गुरुग्राम