उर्दू वर्किंग जर्नलिस्ट का पहला राष्ट्रिय सम्मेलन हुआ आयोजित।
रविवार 28 मई 2023 को तेलंगाना उर्दू वर्किंग जर्नलिस्ट फेडरेशन का पहला राष्ट्रीय सम्मेलन आयोजित हुआ। जिसमें तेलंगाना सहित भारत के अन्य राज्यों के अलग-अलग कई भाषा के टीवी चैनल से जुड़े पत्रकार और अखबार से जुड़े पत्रकार शामिल थे। इसमें अतिथि के रूप में तेलंगाना के डीजीपी, पूर्व अल्पसंख्यक कल्याण मंत्री कॉन्ग्रेस नेता मोहम्मद अली सब्बीर और मौलाना आजाद नेशनल उर्दू यूनिवर्सिटी के पत्रकारिता एवं जनसंचार विभाग के हेड प्रोफेसर मोहम्मद फ़रियाद के साथ अन्य लोग भी शामिल थे।
इस एक दिवसीय प्रथम राष्ट्रीय कॉन्फ्रेंस का उद्देश्य यह था की उर्दू की जर्नलिस्ट की संख्या में कमी देखी जा रही है और उर्दू जर्नलिस्ट को किस तरह के परेशानी आ रही है एवं वर्तमान में जिस तरह से टेक्नोलॉजी काम कर रही है उसका किस तरह से फायदा उठाते हुए काम करना है।
वही उसपे तेलंगाना के डीजीपी ने कहा की भाषा की कोई बैरियर नही होनी चाहिए। उर्दू भाषा सभी भाषा से मिल कर बनी है उर्दू भाषा में मोहब्बत वाली ताकत है ऐसी शायद बहुत कम ही भाषा में देखने को मिलती है।
सोशल मीडिया में हर मिनट में खबर आती है लेकिन क्या वह खबर सही है या गलत वो बाद में पता चलता है।
उन्होंने आगे कहा की आप जर्नलिस्ट और हम पुलिस वालो में कोई फर्क नही है हम दोनो समाज सेवा करते हैं। बस फर्क इतना है कि आप सिविल लिबास में सेवा करते है और हम वर्दी में सेवा करते हैं।
कॉन्ग्रेस नेता पूर्व अल्पसंख्यक कल्याण मंत्री मोहम्मद अली सब्बीर ने बीजेपी पर किशना साधते हुए कहा की ये लोग इतिहास बदल रहे है ये RSS के एजेंडा पर चल रहे है DU के 12th से राजनीति विज्ञान के पाठ्यक्रम से अल्लामा इकबाल का इतिहास हटा दिया गया है
इन्होंने ही पहला नारा इंकलाब ज़िंदाबाद का दिया था इन्होंने आगे कहा कि कम से कम ऊर्दू का एक माध्यमिक विषय अपने बच्चें को पढ़ाइए और अब उर्दू का अवॉर्ड मिलना भी खत्म हो चुका है उर्दू में काम करने वालो को अवॉर्ड भी दीजिए।
इसी के साथ मौलाना आजाद नेशनल उर्दू यूनिवर्सिटी के पत्रकारिता एवं जनसंचार विभाग के हेड मोहम्मद फ़रियाद साहब ने अपनी बातों को रखते हुए कहा की जेम्स अगस्टस हिक्की के इतिहास के जानें बिना पत्रकारिता कर भी नहीं सकता । इसी के साथ जेम्स अगस्टज की चंद इतिहास भी बताई।
इसी के साथ उन्होंने कहा की उर्दू को बढ़ावा देने के लिए मौलाना आजाद नेशनल उर्दू यूनिवर्सिटी में पिछले साल उर्दू 200 साल सहाफत पूरा होने पर एक जश्न मनाई गई और आज उर्दू को लेकर राष्ट्रीय स्तर कॉन्फ्रेंस की जा रही है। आप लोग अपने बच्चे को कम से कम एक विषय उर्दू का पढ़ाइए।
इसके बाद अन्य लोगों ने भी अपनी विचार को रखा और यह कांफ्रेंस सुबह 10 बजे से शाम 6 बजे तक चला।
इस प्रोग्राम में पश्चिम चम्पारण बेत्तिया के निवासी एवं पत्रकारिता एवं जनसंचार विभाग मौलाना आजाद नेशनल उर्दू यूनिवर्सिटी से पढ़ाई कर रहे शकिल आलम ने भी भाग लिया जिसमें कई पहलुओं पर चर्चा हुई और इसी के साथ मोमेंटो देकर उनको सम्मानित भी किया गया।