इज्जत
सवाल उनका आया हम तक कि
क्या यही मोहब्बत थी जो चन्द लम्हों में नफ़रत में तब्दील हो गई?
हमने भी पैगाम भेज दिया कि…
किसी को अपनी जिंदगी से निकाल देने का मतलब नफ़रत नहीं होती बल्कि हम खुद की इज्ज़त करना जानते हैं।
सवाल उनका आया हम तक कि
क्या यही मोहब्बत थी जो चन्द लम्हों में नफ़रत में तब्दील हो गई?
हमने भी पैगाम भेज दिया कि…
किसी को अपनी जिंदगी से निकाल देने का मतलब नफ़रत नहीं होती बल्कि हम खुद की इज्ज़त करना जानते हैं।