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10 Nov 2023 · 1 min read

आचार्य अभिनव दुबे

आज का काव्य बेदर्दी की रचना बेदर्दी के एक अनछिपे दोस्त श्री अभिनव दुबे ज्योतिषाचार्य एस्ट्रोसेज एप्प के महारथी,
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महान व्यक्तित्व नाम अभिनव,
ज्योतिष शास्त्र के महारथी अभिनव,
उच्च विचार आचरण सादा,
क्षण रेत तप्त से क्षण शीतल होए।

शब्द विनम्र मित्रवत व्यवहार,
अक्षोभ गगन से,संबल विचार।
सकल प्रभावित मै संचय करूं,
हैं सद्भावना, कर्म-शील के भंडार।

समभाव दृष्टि से सबको देखा,
दर्प, कोप न हमने देखा।
सहस्त्र जनो के तुम मार्गदर्शक,
सदभाव हृदय संग मर्यादा रेखा।

दीन सहचर को भी संग बिठाते,
एस्ट्रोसेज पे ये प्रीत निभाते।
दुख दर्द से हारा व्यक्ति,
ग्रहों में घिरा असफल व्यक्ति,
इनके लाईव सेसन में जो जाये,
सब समाधान ज्योतिष आधार,
नैया पार लगा दे बन के पतवार,
सोच हो जैसे व्योम समान,
उन्नयन प्रगति के मार्ग बताते है,
कवि बेदर्दी के मित्र अभिनव,
प्रयागराज के प्रिय अभिनव,

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