अतिश्योक्ति अलंकार
अतिश्योक्ति अलंकार
पुष्प पग पर “”””””””गिरे पाँव काले पड़े
जिस्म पर “””””””चाँदनी से थे छाले पड़े
आँख चुँधियाए उस कामिनी की अगर
दिन में भी””””””जुगनुँओं के उजाले पड़े
प्रीतम राठौर भिनगाई
श्रावस्ती (उ०प्र०)
अतिश्योक्ति अलंकार
पुष्प पग पर “”””””””गिरे पाँव काले पड़े
जिस्म पर “””””””चाँदनी से थे छाले पड़े
आँख चुँधियाए उस कामिनी की अगर
दिन में भी””””””जुगनुँओं के उजाले पड़े
प्रीतम राठौर भिनगाई
श्रावस्ती (उ०प्र०)