“अतिथि”
(1)
तन सराय
मोह-माया सामान
“अतिथि” साँस
(2)
वक़्त अभाव
“अतिथि” से करती
दीवारें बात
(3)
मन के घर
घृणा-प्रेम अतिथि
आते व जाते
(4)
अतिथि सेवा
पूजा है संस्कारों की
आतिथ्य धर्म
(5)
बन अतिथि
ठहरी महंगाई
रोये गरीबी
स्वरचित
ऋतुराज दवे