Sahityapedia
Login
Create Account
Home
Search
Dashboard
0
Notifications
Settings
*प्रणय प्रभात*
69 Followers
Follow
Report this post
14 Dec 2022 · 1 min read
■ छुट्टी आहे….!
महीने में 20 दिन काम, 10 दिन आराम। आरामखोरी ज़िंदाबाद।
Language:
Hindi
Like
Share
1 Like
· 317 Views
Share
Facebook
Twitter
WhatsApp
Copy link to share
Copy
Link copied!
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Join Sahityapedia on Whatsapp
You may also like:
कही दूर नहीं हो ,
Buddha Prakash
मिलना यह हमारा, सुंदर कृति है
Suryakant Dwivedi
दुनियां में मेरे सामने क्या क्या बदल गया।
सत्य कुमार प्रेमी
प्यासा के राम
Vijay kumar Pandey
गज़ल
करन ''केसरा''
हम में सिर्फ यही कमी है,
अरशद रसूल बदायूंनी
!! आशा जनि करिहऽ !!
Chunnu Lal Gupta
"" *मन तो मन है* ""
सुनीलानंद महंत
मेरी सुख़न-गोई बन गई है कलाम मेरा,
डॉ. शशांक शर्मा "रईस"
जी हां मजदूर हूं
Anamika Tiwari 'annpurna '
आ जाती हो याद तुम मुझको
gurudeenverma198
उसके नाम के 4 हर्फ़ मेरे नाम में भी आती है
Madhuyanka Raj
" वाकया "
Dr. Kishan tandon kranti
खेल संग सगवारी पिचकारी
Ranjeet kumar patre
4710.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
तुम्हारे साथ,
हिमांशु Kulshrestha
😘वंदे मातरम😘
*प्रणय प्रभात*
तू ने आवाज दी मुझको आना पड़ा
कृष्णकांत गुर्जर
कर्मयोगी संत शिरोमणि गाडगे
डॉ विजय कुमार कन्नौजे
*आँसू मिलते निशानी हैं*
सुखविंद्र सिंह मनसीरत
बरसात का मौसम तो लहराने का मौसम है,
Neelofar Khan
अति गरीबी और किसी वस्तु, एवम् भोगों की चाह व्यक्ति को मानसिक
Rj Anand Prajapati
मेरे मौन का मान कीजिए महोदय,
शेखर सिंह
जिंदगी की सड़क पर हम सभी अकेले हैं।
Neeraj Agarwal
छोड़ जाऊंगी
Sarla Sarla Singh "Snigdha "
तुमसे इश्क करके हमने
लक्ष्मी वर्मा प्रतीक्षा
सोचते होंगे तुम
Dheerja Sharma
पर्यावरण
डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम
प्रेम का असली सौंदर्य तो प्रतीक्षा में दिखता है, जहां धैर्य
पूर्वार्थ
*"ब्रम्हचारिणी माँ"*
Shashi kala vyas
Loading...