Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
31 Jul 2023 · 1 min read

मात पिता को तुम भूलोगे

मात पिता को तुम भूलोगे
पुत्र सदा तुम्हें भी भूलेगा
वृद्धाश्रम भेजोगे उनको
तुम्हें सड़क पर वो छोड़ेगा !!@ परिमल

402 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
मुझको अपनी शरण में ले लो हे मनमोहन हे गिरधारी
मुझको अपनी शरण में ले लो हे मनमोहन हे गिरधारी
अनिल कुमार गुप्ता 'अंजुम'
याद रक्खा नहीं भुलाया है
याद रक्खा नहीं भुलाया है
Dr fauzia Naseem shad
मौन सभी
मौन सभी
sushil sarna
मोहब्बत तो अब भी
मोहब्बत तो अब भी
Surinder blackpen
Khata kar tu laakh magar.......
Khata kar tu laakh magar.......
HEBA
बहुत याद आता है
बहुत याद आता है
हिमांशु बडोनी (दयानिधि)
शेखर सिंह ✍️
शेखर सिंह ✍️
शेखर सिंह
*फितरत*
*फितरत*
Dushyant Kumar
ख़ुद की हस्ती मिटा कर ,
ख़ुद की हस्ती मिटा कर ,
ओसमणी साहू 'ओश'
मेरी रातों की नींद क्यों चुराते हो
मेरी रातों की नींद क्यों चुराते हो
Ram Krishan Rastogi
माँ दुर्गा की नारी शक्ति
माँ दुर्गा की नारी शक्ति
कवि रमेशराज
*रात से दोस्ती* ( 9 of 25)
*रात से दोस्ती* ( 9 of 25)
Kshma Urmila
मूर्ती माँ तू ममता की
मूर्ती माँ तू ममता की
Basant Bhagawan Roy
"मित्रों से जुड़ना "
DrLakshman Jha Parimal
"रिश्ते की बुनियाद"
Dr. Kishan tandon kranti
तेरी कमी......
तेरी कमी......
Abhinay Krishna Prajapati-.-(kavyash)
मुद्दतों से तेरी आदत नहीं रही मुझको
मुद्दतों से तेरी आदत नहीं रही मुझको
Shweta Soni
सुबह की चाय मिलाती हैं
सुबह की चाय मिलाती हैं
Neeraj Agarwal
दिल खोल कर रखो
दिल खोल कर रखो
Dr. Rajeev Jain
मुस्की दे प्रेमानुकरण कर लेता हूॅं।
मुस्की दे प्रेमानुकरण कर लेता हूॅं।
Pt. Brajesh Kumar Nayak
हम सा भी कोई मिल जाए सरेराह चलते,
हम सा भी कोई मिल जाए सरेराह चलते,
डॉ. शशांक शर्मा "रईस"
मैं गुजर जाऊँगा हवा के झोंके की तरह
मैं गुजर जाऊँगा हवा के झोंके की तरह
VINOD CHAUHAN
*परिस्थिति चाहे जैसी हो, उन्हें स्वीकार होती है (मुक्तक)*
*परिस्थिति चाहे जैसी हो, उन्हें स्वीकार होती है (मुक्तक)*
Ravi Prakash
*समझौता*
*समझौता*
सुरेन्द्र शर्मा 'शिव'
Bad in good
Bad in good
Bidyadhar Mantry
सब चाहतें हैं तुम्हे...
सब चाहतें हैं तुम्हे...
सिद्धार्थ गोरखपुरी
किसान और जवान
किसान और जवान
Sandeep Kumar
.
.
*प्रणय प्रभात*
कौआ और बन्दर
कौआ और बन्दर
SHAMA PARVEEN
*याद  तेरी  यार  आती है*
*याद तेरी यार आती है*
सुखविंद्र सिंह मनसीरत
Loading...