प्यार का मंज़र ………
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प्यार का मंज़र एक दिन जरूर रंग लायेगा
जो छोड़ कर गया है बीच रहा में वो बहुत पछताएगा
उसने खो दिया है एक नायब हीरा
अब इस गलती से कहा तक बच पाएगा
रोएगा बहुत सोच सोच कर की
अपने जैसा यार वो दुबारा कहा से लायेगा
मना यू दिल तोड़ कर बहुत खुश होगी अब
पर यह टूटा हुआ दिल दुबारा कहा जुड़ पाएगा
उसने तो कर लिया अलग अपने आप से
फिर क्या अब वो दुबारा अपना बना पायेगा
……. ” J-kay chhonkar “…….