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24 Feb 2023 · 1 min read

जितना अता किया रब,

जितना अता किया रब,
तौफ़ीक़ सब है उसकी।
फक्र करने लायक मुझमें,
दूर तक कुछ भी नहीं।

सतीश सृजन

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