हरीश सुवासिया Tag: कविता 2 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid हरीश सुवासिया 23 May 2022 · 1 min read आम ही आम है ! आम ही आम है ! वागड. की धरा पर वो मोर की महक संग तोतों की चहक पोपले से गदराए लालिमा युक्त गात लाल- हरे रंगीन पात शिशु के मुंह... Hindi · कविता 2 1 581 Share हरीश सुवासिया 24 Apr 2022 · 1 min read मां माँ माँ, एक सबद कोनी पूरी पोथी है मां कदै दैवकी कदै यशोदा है । जन्म जन्म सू नाता है दूजै धरती माथै विधाता है जन्म सू रगत संबंध राखै... Hindi · कविता 671 Share