surenderpal vaidya Tag: रूपमाला छंद 4 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid surenderpal vaidya 3 Jun 2024 · 1 min read बाजार गीतिका ~~~ खूब फैले जा रहे हैं हर जगह बाजार। व्यक्ति होता जा रहा है बेवजह लाचार। हर जगह धन चाहिए तो बन सके कुछ बात। पा सकेगा किस तरह... Hindi · गीतिका · रूपमाला छंद 139 Share surenderpal vaidya 26 May 2024 · 1 min read रूप यौवन गीतिका ~~ रूप यौवन चार दिन का मत करो अभिमान। व्यर्थ ही करना नहीं हम को स्वयं गुणगान। फूल खिलता खूबसूरत खूब महके छोर। और करते हैं सभी सौंदर्य का... Poetry Writing Challenge-3 · गीतिका · रूपमाला छंद 2 87 Share surenderpal vaidya 26 May 2024 · 1 min read रूठ मत जाना गीतिका ~~ रूठ मत जाना बहुत है आपसे जब प्यार। स्नेह का अनुबंध हमको पूर्ण है स्वीकार। हर तरफ जब खूबसूरत खिल रहे हैं फूल। खूब महकी जा रही हैं... Poetry Writing Challenge-3 · गीतिका · रूपमाला छंद 1 87 Share surenderpal vaidya 2 Apr 2024 · 1 min read * साथ जब बढ़ना हमें है * ** गीतिका ** ~~ साथ जब बढ़ना हमें है, छोड़ दें अलगाव। और सब सहते रहे मिल, मन बदन पर घाव। शूल पांवों में चुभा है, राह पर वीरान। मिल... Hindi · गीतिका · रूपमाला छंद 1 1 85 Share