bunty singh Tag: कविता 1 post Sort by: Latest Likes Views List Grid bunty singh 29 Sep 2016 · 1 min read ग़ज़ल ..'.यादें बसी है आज तलक .'' -*-*-*-*-*-*-*-*-*-*-*-*-*-*-*-*-*-*-*-* गुज़रे हुए लम्हात की 'उस पाक साल की यादें बसी है आज तलक 'काले बाल की हमने कभी पुकार लिया था अंजाने में दिल में रही पुकार न निकली... Hindi · कविता 289 Share