rekha rani Tag: मुक्तक 11 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid rekha rani 11 Sep 2019 · 1 min read हम शिक्षक है हम शिक्षक है, हम मिटा कर अपनी हस्ती को तुम सी हस्तियां बनाते हैं। किन्तु शायद तुमने यह समझ लिया कि हम केवल हस्तियां बनाते ही हैं। बता देंगे तुझे... Hindi · मुक्तक 2 555 Share rekha rani 12 Aug 2019 · 1 min read मित्रता दिवस चहुं ओर प्रेषित मित्र-दिवस की शुभकामनाएं। किंतु क्या सच्चा मित्र कौन यह पहचान पाए। मित्र कौन सच्चा आज यह जानिए। सच्चे मित्र की पहचान जानिए। तृप्त हृदय को जो सरस... Hindi · मुक्तक 2 1 831 Share rekha rani 16 Jun 2019 · 2 min read नेता मुक्तक नेताओं को दे रखे हैं , सरकार ने बंगले और मोटर कार । मगर देश की जनता पर कर्ज की भरमार। कर्ज़ की भरमार चैन से रह ना पाए। भूखा... Hindi · मुक्तक 1 684 Share rekha rani 4 Jun 2019 · 1 min read कहना आसान है बहुत ही आसान है सुंदर और प्रभावी व्याख्यान देना अथवा लिख देना। जीवन के कठिन तम पहलुओं को सहजता से उकेर देना। गांव के कठिन और जटिल जीवन की कहानियां... Hindi · मुक्तक 1 374 Share rekha rani 1 Jun 2019 · 1 min read प्रेरणा :- किसी को सुनाई दे या न दें मुझे तो सुनाई देती हैं। बैचैन दीदी की वो दुःख की आहें मुझे तो सुनाई देती हैं। कोई लाख समझे मै दूर हूं... Hindi · मुक्तक 1 325 Share rekha rani 30 May 2019 · 1 min read बच्चों से घर होता रोशन-: बच्चों से घर रहता रोशन,रोशन सारा जहान। किन्तु यकायक रह जाता है घर से पुन: मकान। चारों तरफ़ फरमाइशों का शोर गूंजता है। पहले मैं पहले मैं का दौर गूंजता... Hindi · मुक्तक 2 300 Share rekha rani 29 May 2019 · 1 min read असमय चले जाना :- उसका असमय दुनिया से यूं चले जाना, दु:खों के सागर में गोते लगाकर अचानक यूं डूब जाना। लगता है जैसे कल ही की बात थी उसका इस बेसिक में आना।... Hindi · मुक्तक 3 1 1k Share rekha rani 28 May 2019 · 1 min read अतीत की गलियों में आज फिर अतीत की गलियों में लौट रहे हैं हम,। बिना बुलाए बिना गिले शिकवे पहुंच रहे है हम। वहीं पुरानी कॉलोनी जहां लोगों से कुछ कुछ पहचान भी है।... Hindi · मुक्तक 1 552 Share rekha rani 26 May 2019 · 1 min read गुरु की महिमा जब कदम डगमगाए और मन हो परेशन , विफलता का जब भी हमें भय सताए, उस पल मसीहा गुरु याद आए। गुरु एक माता ,गुरु एक पिता है। अपराध जब... Hindi · मुक्तक 2 1 613 Share rekha rani 25 May 2019 · 1 min read दो टूक चुनाव पर न मोदी से कोई गिला , न शिकवा मुझे सोनिया से। न दोस्ती राहुल से,न माया में दिल चस्पी है । न तो न कोई बैर सिसौदिया से। लोकतन्त्र का... Hindi · मुक्तक 2 1 651 Share rekha rani 4 May 2017 · 1 min read शहीद का सिर शत्रु ने बर्बरता से सैनिक का सिर जब काट लिया। कटे हुए सिर ने फौरन शत्रु का षड्यंत्र भांप लिया। शेष शरीर से बोला सिर यह मेरे भरोसे मत रहना।... Hindi · मुक्तक 1 1 437 Share