Pradeep kumar madhesia 1 post Sort by: Latest Likes Views List Grid Pradeep kumar madhesia 10 Feb 2019 · 1 min read इज़्हार हो ना पाया इज़्हार हो न पाया मोहब्बत मुकम्मल हो न पाया धड़कता था यह दिल उनके खातिर खो न दें उनको यह सोच कुछ कह न पाया। पहले पहल रूप उनका दिल... Hindi · कविता 1 289 Share