n_upadhye Tag: कविता 1 post Sort by: Latest Likes Views List Grid n_upadhye 17 Apr 2022 · 1 min read पिता अब बुढाने लगे है फलक पे जो देखो ढलकते रवि को नजर मे ले आना पिता की छवि को बहोत दिन हुए है तुम्हे घर को आये तुम्हे काम के सौ बहाने लगे हैं... “पिता” - काव्य प्रतियोगिता एवं काव्य संग्रह · कविता 9 5 422 Share