Meenakshi Verma 1 post Sort by: Latest Likes Views List Grid Meenakshi Verma 28 Nov 2018 · 1 min read माँ एक अरसा हुआ तुझसे बिछड़े माँ अब वो स्पर्श नहीं मिलता ना कोई छूता है प्यार से माथा मेरा ना उलझे बालों को सँवारता है कोई आखेँ तो यूँ भी... Hindi · कविता 8 12 1k Share