Shreedhar Tag: Quote Writer 17 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Shreedhar 24 Apr 2024 · 1 min read अच्छा ख़ासा तआरुफ़ है, उनका मेरा, अच्छा ख़ासा तआरुफ़ है, उनका मेरा, जाने क्यों मेरा हाल, रिंदों से पूछा करते हैं। वो ख़ुद ही उठकर गये थे मिरी महफ़िल से, जाने क्यों तन्हाई में मेरी ग़ज़ल... Quote Writer 21 Share Shreedhar 24 Apr 2024 · 1 min read वो लुका-छिपी वो दहकता प्यार— वो लुका-छिपी वो दहकता प्यार— ****** अब कहांँ कभी पेड़ों की छांव में कभी गेंदा गुलाब की झुरमुटों में कभी नदी किनारे कभी खेतों कुछ मेंढ़ों की आड़ में वो... Quote Writer 20 Share Shreedhar 24 Apr 2024 · 1 min read क़त्ल कर गया तो क्या हुआ, इश्क़ ही तो है- हो गया तो हो गया, क्या हुआ, इश्क़ ही तो है, कर गया बीमारे-जिगर तो क्या हुआ, इश्क़ ही तो है। आशिक़ भी दौर-ए-ग़ुरबत, क्या से क्या हो गया, न... Quote Writer 21 Share Shreedhar 24 Apr 2024 · 1 min read आख़िरी इश्क़, प्यालों से करने दे साकी- मय को मेरे पास ही रहने पीने दे साकी, तू दूर रह, सिर्फ़ मुझे निहारने दे साकी। ज़ुर्रत रही नहीं, जफ़ाएं और झेलने की, अपने जिगर के साथ, वफ़ा करने... Quote Writer 22 Share Shreedhar 24 Apr 2024 · 1 min read कभी अपनेे दर्दो-ग़म, कभी उनके दर्दो-ग़म- कभी अपनेे दर्दो-ग़म ने परेशां किया, कभी उनके दर्दो-ग़म ने हैरां किया। अपनी तो जैसे कटी,कट गई जवानी, उन्हें भी ताउम्र मेरे ख़यालों में जीना पड़ा। मुकर्रर न हुआ फिर,... Quote Writer 18 Share Shreedhar 24 Apr 2024 · 1 min read ये इश्क़-विश्क़ के फेरे- मज़ाज़ी इश्क़ नहीं, हक़ीक़ी शायरी से मोहब्बत है, हमें हक़ीक़त के सिवा, दुनियादारी से नफ़रत है। इश्क़-विश्क़ के फेरे में, न हम पड़े न पड़ने वाले, शायरी तो हमारे दिल-ओ-जां-ख़ूं... Quote Writer 26 Share Shreedhar 24 Apr 2024 · 1 min read न वो बेवफ़ा, न हम बेवफ़ा- अच्छा ख़ासा तआरुफ़ है, उनका मेरा, जाने क्यों मेरा हाल, रिंदों से पूछा करते हैं। वो ख़ुद ही उठकर गये थे मिरी महफ़िल से, जाने क्यों तन्हाई में मेरी ग़ज़ल... Quote Writer 21 Share Shreedhar 24 Apr 2024 · 1 min read बीती एक और होली, व्हिस्की ब्रैंडी रम वोदका रंग ख़ूब चढे़-- मेलमिलाप ईद होली दिवाली, जेब से डायरेक्ट लिंक देखिए पैसों के हिसाब से रंग बदलने वाली, प्यार की इंक देखिए। बीती एक और होली, व्हिस्की ब्रैंडी रम वोदका रंग ख़ूब... Quote Writer 23 Share Shreedhar 24 Apr 2024 · 1 min read बर्फ़ के भीतर, अंगार-सा दहक रहा हूँ आजकल- बडा शर्मसार हो रहा हूँ मैं, ख़ुद से आजकल, फिर उन्हीं की याद में खो जाता हूँ आजकल। बड़ी नख़वत से पी लिए थे हम जहर-ए-ज़फ़ा, वक़्त-बे-वक़्त बीमार पड़ने लगा... Quote Writer 27 Share Shreedhar 4 Sep 2023 · 1 min read अब उनकी आँखों में वो बात कहाँ, अब उनकी आँखों में वो बात कहाँ, मुलाकातों में धड़कते हालात कहाँ। तबस्सुम उनका गुलशन सा होता था, अब उनकी बातों में वो जज़्बात कहाँ। गुफ़्तगू हो जाती है उनसे... Quote Writer 2 251 Share Shreedhar 4 Sep 2023 · 1 min read कम आ रहे हो ख़़्वाबों में आजकल, कम आ रहे हो ख़़्वाबों में आजकल, शायद, पौष की लंबी रातों में आओगे। रूठे रहो यों ही, दो-चार महीने और, ख़ुद ही एक रोज़ बातों-बातों में आओगे। आने दो... Quote Writer 2 95 Share Shreedhar 4 Sep 2023 · 1 min read तुम्हें पाना-खोना एकसार सा है-- तुम्हें पाना-खोना एकसार सा है-- Quote Writer 198 Share Shreedhar 4 Sep 2023 · 1 min read सारी तल्ख़ियां गर हम ही से हों तो, बात ही क्या है, सारी तल्ख़ियां गर हम ही से हों तो, बात ही क्या है, बस रोज़ हमें आदाब लिखो और भूल जाया करो। देखो बरसात जा रही है, मौसम सूखे-सूखे आएंगे, गुजरती... Quote Writer 358 Share Shreedhar 4 Sep 2023 · 1 min read मेरी पेशानी पे तुम्हारा अक्स देखकर लोग, मेरी पेशानी पे तुम्हारा अक्स देखकर लोग, मुझे तुम्हारे नाम से पुकारने लगे हैं। ख़ुदा जाने ये कैसा हसीन माजरा है, लोग मेरा नाम तुमसे जोड़ने लगे हैं। यों तो... Quote Writer 273 Share Shreedhar 21 Apr 2023 · 1 min read महबूब से कहीं ज़्यादा शराब ने साथ दिया, महबूब से कहीं ज़्यादा, शराब ने साथ दिया, दिलवर रंग बदलता रहा, ज़ाम कभी नहीं। ***** जब भी तलाशने लगता हूँ, हसीं पन्ने डायरी के, जाने क्यों बारहा तुम्हारी तस्वीर... Quote Writer 17 Share Shreedhar 27 Mar 2023 · 1 min read फ़ेहरिस्त रक़ीबों की, लिखे रहते हो हाथों में, फ़ेहरिस्त रक़ीबों की, लिखे रहते हो हाथों में, फिर भी मेरे रफ़ीक़ बने रहना चाहते हो तुम। Quote Writer 321 Share Shreedhar 27 Mar 2023 · 1 min read फ़ेहरिस्त रक़ीबों की... फ़ेहरिस्त रक़ीबों की, लिखे रहते हो हाथों में, फिर भी मेरे रफ़ीक़ बने रहना चाहते हो तुम। Hindi · Quote Writer · कविता 127 Share