singh kunwar sarvendra vikram 44 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid singh kunwar sarvendra vikram 23 Nov 2024 · 1 min read हिय–तरंगित कर रही हो....! नयन–इंगित, हिय–तरंगित कर रही हो संचरण जीवन–वरण तुम कर रही हो कल्पना सा रूप लेकर अल्पना घनीभूत देकर कंचना प्रारूप लेकर कर्मना फलीभूत देकर पलक–मंत्रित, पिय–निमंत्रित कर रही हो जागरण... Hindi · Hindi_poetry · Hindi_sahitya_hindi_kavitayei · Kunwar_Sarvendra_Vikram_Singh · Trending · प्रेम_पर_कविता 2 160 Share singh kunwar sarvendra vikram 14 Nov 2024 · 1 min read बंद मुट्ठियों को खुलने तो दो...! बंद मुट्ठियों को खुलने तो दो...! (बाल दिवस के अवसर पर बच्चों को समर्पित मेरी यह रचना) _______________________________ बंद मुट्ठियों को खुलने तो दो फूलों सा खिलने तो दो हवाओं... Hindi · Childrens_day_poetry · Hindi_bal_kavitayein · Kunwar_Sarvendra_Vikram_Singh · बच्चों_पर_कविताएं · बाल_दिवस_पर_कविता 1 2 118 Share singh kunwar sarvendra vikram 5 Nov 2024 · 1 min read जगमग जगमग दीप जलें, तेरे इन दो नैनों में....! जगमग–जगमग दीप जलें, तेरे इन दो नैनों में दीपावली कोई गीत गढ़े, तेरे इन दो नैनों में रूप जवानी का दीपक है बारे पलकें जो तेरी काजल हैं पारे मोती... Hindi · Kunwar_Sarvendra_Vikram_Singh · Love_Poem · Trending · Trending_poetry_of_deepawali · दीपावली_पर_कविता 1 147 Share singh kunwar sarvendra vikram 3 Nov 2024 · 1 min read ये करुणा भी कितनी प्रणय है....! ये करुणा भी कितनी प्रणय है कुछ सकल सुख है इसमें श्रृँगार का कुछ विकल आँसुओं की ये लय है ये करुणा भी कितनी प्रणय है अंदरूनी चमक लाख सी... Hindi · Invincible_Path · Journey_of_life · Kunwar_Sarvendra_Vikram_Singh · Sun_Lamp_light · Trending_poetry 1 130 Share singh kunwar sarvendra vikram 30 Oct 2024 · 1 min read प्रिये ! अबकी बार तुम्हारे संग, दीपावली मनाना चाहता हूँ....! आँखों से आँखों में, प्रेम के दीप जलाना चाहता हूँ प्रिये ! अबकी बार तुम्हारे संग, दीपावली मनाना चाहता हूँ शशि, रवि पर्याप्त नहीं हैं, हृदय का तम हरने को... Hindi · Kunwarsarvendravikramsingh · Lovepoetry · Poetryofdeepawali · Trending · दीपावालीपरहिंदीकविता 1 90 Share singh kunwar sarvendra vikram 25 Oct 2024 · 1 min read मोहब्बत ने तेरी मुझे है सँवारा मोहब्बत ने तेरी मुझे है सँवारा तेरे बाजुओं ने दिया है सहारा घटाओं के गेसू में उलझा पड़ा था ऊँचे से पर्वत पर मौन खड़ा था चंचल से झरनों ने... Hindi · Kunwarsarvendravikramsingh · Lovewritings · Poetryoflove · Trendinglovesongs · मोहब्बतनेतेरीमुझेहैसँवारा 1 220 Share singh kunwar sarvendra vikram 18 Oct 2024 · 1 min read खोटा सिक्का....!?! एक चवन्नी सोने की तू, हाँ मैं खोटा सिक्का हूँ जज़्बातों से तू है खेले, मैं वादों का पक्का हूँ तू मधुमास–मधुप मँडराए काला–दिल कोकिल तू गाए मेरे मन का... Hindi · Khotasikka · Kunwarsarvendravikramsingh · Poetry · Trendingpoetry · हिंदीकविता 92 Share singh kunwar sarvendra vikram 10 Oct 2024 · 1 min read हवा भी कसमें खा–खा कर जफ़ायें कर ही जाती है....! हवा भी कसमें खा–खा कर, जफ़ायें कर ही जाती है चलाकर होश की आँधी, रतजगा कर ही जाती है रात–रात भर मलयज बहके मदिरा सिंचित पलकें ढ़लकें इंद्रजाल सम्मोहन बुनके... Hindi · Dardbharenagmein · Kunwarsarvendravikramsingh · Poetryoflove · Trending · हिंदीकविता 174 Share singh kunwar sarvendra vikram 1 Oct 2024 · 1 min read सोच रहा अधरों को तेरे....! सोच रहा अधरों को तेरे, गीतों में मैं लिख डालूँ प्रणय–कामना सहवासी, रातों का चुम्बन लिख डालूँ अपने हाथों लिख डालूँ मैं सुख–दुःख के इतिहास को लिख डालूँ नैनों के... Hindi · Kunwarsarvendravikramsingh · Lovesong · Trending · कविता · सोच रहा अधरों को तेरे 2 2 791 Share singh kunwar sarvendra vikram 28 Sep 2024 · 1 min read प्रेम की मर्यादा प्रेम में मर्यादा सोहे न सोहे है वासना मन नियंत्रित न रहे उपजे दूषित भावना आँखों में है रोग रोहे पलकों पर दुर्भावना दृष्टि पावन न रहे तो ओझिल हो... Hindi · Hindipoetry · Kunwarsarvendravikramsingh · Poetryoflove · Premkimaryada · कविता 2 2 165 Share singh kunwar sarvendra vikram 26 Sep 2024 · 1 min read बेवफ़ा इश्क़ वालों के जब दिल टूटेगें तो वो भी ग़म लिखेगें जो खुद बेवफ़ा हैं वो भला बेवफाओं के बारे में क्या लिखेगें –कुंवर सर्वेंद्र विक्रम सिंह ★स्वरचित रचना ★©️®️... Hindi · Disloyal · Kunwarsarvendravikramsingh · Love · इश्क़बेवफ़ा · बेवफ़ा शायरी 2 3 83 Share singh kunwar sarvendra vikram 24 Sep 2024 · 1 min read कल है हमारा गर्दिश में जो छिपा पड़ा हूँ आसमान का हूँ मैं तारा बीते कल ने साथ जो छोड़ा आने वाला कल है हमारा –कुंवर सर्वेंद विक्रम सिंह ★स्वरचित रचना ★©️®️सर्वाधिकार सुरक्षित Hindi · Hindi_sahitya · Kunwarsarvendravikramsingh · कल है हमारा · कविता · कुंवरसर्वेंद्रकीकविताएं 1 93 Share singh kunwar sarvendra vikram 22 Sep 2024 · 1 min read कोई मेरे दिल में उतर के तो देखे... कोई मेरे दिल में, उतर के तो देखे मेरी फैली बाँहों में, बिखर के तो देखे मेरी गर्म साँसों में आहें दहकती निशा भी शराबी होकर बहती कोई मन के... Hindi · Kunwarsarvendravikramsingh · Lovepoetry · Premkegeet · कोई मेरे दिल में उतर के तो दे · गीत 1 125 Share singh kunwar sarvendra vikram 20 Sep 2024 · 1 min read घूँघट घटाओं के चंचल हवाओं के, घूँघट घटाओं के आँचल लहरते हैं, जैसे फिज़ाओं के कलियाँ जो खिल–खिल जातीं गुलशन को हैं महकातीं डाली पे बैठी कोयल उल्फ़त के गीत गाती फूल की... Hindi · Kunwarsarvendravikramsingh · Lovesongs · कुंवर सर्वेंद्र की कविताएं · गीत · चंचलहवाओंके 1 116 Share singh kunwar sarvendra vikram 17 Sep 2024 · 1 min read प्रीत हमारी हो मानो या न मानो, प्रीत हमारी हो इश्क़ हो तुम, इश्क़ की लाचारी हो इश्क़ की सुलगी चिंगारी जलना दिल का हुआ जो जारी आहोें के बादल हैं छाए बदली... Hindi · Kunwarsarvendravikramsingh · Lovesong · Preethamariho · कुंवरसर्वेंद्रकीकविताएं · गीत 1 111 Share singh kunwar sarvendra vikram 15 Sep 2024 · 1 min read मन की चाहत मैंने तुझे जो चाहा, मैंने तुझे जो पूजा ढूँढ़ों जो ढूँढ़ती हो, आशिक मिले जो दूजा ख़ामोश है जुबाँ जो पर दिल ये डोलता है आँखों का मेरे मंज़र रह–रह... Hindi · Kunwarsarvendravikramsingh · कविता · कुंवरसर्वेंदकीकविताएं · गीत 1 142 Share singh kunwar sarvendra vikram 27 Aug 2024 · 1 min read बधईया बाजे नंद बाबा घर में बधईया बाजे नंद बाबा घर में दाऊ के बाद कृष्ण जो जनमें जमुना मारे हिलोर बधईया बाजे नंद बाबा घर में देवकीनंदन ब्रिज के बिहारी लिपटत आँचल मात मुरारी किलकत... Hindi · Kunwarsarvendravikramsingh · Shrikrishnabhaktigeetbhajan · कुंवरसर्वेंद्रकृष्णभक्तिगीत · बधईयाबाजेनंदबाबाघरमें · श्रीकृष्णजन्माष्टिमीभजन 1 153 Share singh kunwar sarvendra vikram 23 Aug 2024 · 1 min read पाँव की पायल कोई काजल बना न पाता है, अब मुझे पागल दिल को झनका न पाती है, किसी पाँव की पायल किनारे छोड़ कर मैंने ज़िंदगी लहरों को सौंप दी दर्द का... Hindi · Hindipoetry · Kunwarsarvendravikramsingh · Lovesongs · Trendingpoetry · कुंवरसर्वेंद्रकुकविताएं 1 2 180 Share singh kunwar sarvendra vikram 22 Aug 2024 · 2 min read अनुरक्ति की बूँदें मैं प्रेम को रोपने वाला किसान हूँ स्त्री धरती है मैं उसके मन पर प्रेम का हल चलाता हूं और उगाता हूँ मोहब्बत की फसल अपने प्रीत के रस से... Hindi · Hindipoetry · Kunwarsarvendravikramsingh · अनुरक्तिकीबूँदें · कविता · कुंवरसर्वेंद्रकीकविताएं 177 Share singh kunwar sarvendra vikram 21 Aug 2024 · 1 min read पुरुष हूँ मैं मैं ब्रह्म का अंश हूं पुरुष हूँ मैं माया से घिरा हूँ वही मेरे आवरण बना रही है ताकि मैं नंगा दिखाई नहीं पड़ूँ माया ही मेरा रूप है माया... Hindi · Kunwarsarvendravikramsingh · Mainpurushhoon · Poem · कुंवरसर्वेंद्रकीकविताएं · हिंदीकवितामैंपुरुषहूं 139 Share singh kunwar sarvendra vikram 10 Aug 2024 · 1 min read उदास धड़कन अपनी उदास धड़कनों से जरा पूछ तो लो वो कौन सी मोहब्बत है जो हम दे न सके.....! –कुंवर सर्वेंद्र विक्रम सिंह *स्वरचित *©️®️सर्वाधिकार सुरक्षित Hindi · Kunwarsarvendrakikavitayein · Kunwarsarvendravikramsingh · Trendingshayari · कुंवरसर्वेंद्र · शेर 135 Share singh kunwar sarvendra vikram 7 Aug 2024 · 1 min read तुम्हें सोचना है जो सोचो तुम्हें सोचना है जो सोचो फ़र्क नहीं अब पड़ता है रहीं न अब तुम कुछ भी मेरी हृदय–प्रहर एक जड़ता है सिखला के तुम प्रेम की भाषा फेंका तुमने चौरस–पाशा... Hindi · Hindiloveshayari · HindimeinPremkikavitayein · Kunwarsarvendravikramsingh · Premaurvirahkegeet · कुंवरसर्वेंद्रकीकविताएं 1 2 167 Share singh kunwar sarvendra vikram 3 Aug 2024 · 1 min read दिल्ली की बिल्ली धा–धा धिन–धिन, धा–धा धिन–धिन धा–धा धिन–धिन, लल्ला–लल्ला दिल्ली की जो इक है बिल्ली पूना का एक जो है बिल्ला यारों आओ कथा सुनाऊँ मत करना तुम हल्ला–गुल्ला बिल्ली रानी बड़ी... Hindi · Hindikavita · PoetryofKunwarSarvendra · कुंवरसर्वेंद्रविक्रमसिंह · दिल्लीकीबिल्लीकविता · हास्य-व्यंग 123 Share singh kunwar sarvendra vikram 1 Aug 2024 · 1 min read कोई नी....! कोई नी–कोई नी, कोई नी–कोई नी रात भर सोई नी, रात भर सोई नी दर्द को लेकर भटकूँ न मैं जहाँ दर्द चुन लेगा मिलन के गीत यहाँ खोई नी–खोई... Hindi · PoemsofKunwar Sarvendra · Poetryoflove · कुंवरसर्वेंदविक्रमसिंह · हिंदीकविता 180 Share singh kunwar sarvendra vikram 23 Jul 2024 · 1 min read इश्क़ और चाय अजब–गजब है चाय की खूमारी न मिले तो लगती सूनी दुनिया सारी चाय इश्क से भी है भयंकर बीमारी इसीलिए कमबख्त ये जो चाय है पड़ जाती है हर मोहब्बत... Hindi · Hindikavita · Kunwarsarvendravikramsingh · Poetryoflove · कुंवरसर्वेंद्रकीकविताएं · चाय और इश्क़ पर कविताएं 74 Share singh kunwar sarvendra vikram 23 Jul 2024 · 1 min read अदा हमने उन्हें चाहा बड़ी शिद्दत से हमने उन्हें मांगा हर सजदे में जब उनकी जुल्फों में इक फूल लगाना चाहा तो तो कमबख्त शोखियां बीच में आ गईं दिल टूटकर... Hindi · Kunwarsarvendravikramsingh · Poemoflove · इश्ककीशायरी · कुंवरसर्वेंद्रकीकविताएं · हिंदीमेंप्रेमपरकविता 57 Share singh kunwar sarvendra vikram 23 Jul 2024 · 1 min read तेरी याद.....! तेरी यादों का जो सहारा है, उनके संग जीता और मरता हूं एक भटका हुआ सा राही हूँ, फिक्रमंद रास्तों पे चलता हूं प्यास अकुला उठी है मन में मेरे... Hindi · Hindikavita · Kunwarsarvendrakikavitayein · Kunwarsarvendravikramsingh · कुंवरसर्वेंद्र · गीत 1 176 Share singh kunwar sarvendra vikram 11 Jul 2024 · 1 min read एक कहानी लिख डाली.....✍️ अपनी नादानी में हमने, मनमानी जो कर डाली तुझको लिखते–लिखते हमने, एक कहानी लिख डाली हम तो हैं आवारा बादल युँ हि उड़ते रहते हैं जहाँ मिली हमको हरियाली हम... Hindi · KavitaPoetry · Kunwarsarvendravikramsingh · Trending · कुंवरसर्वेंद्र · गीत 1 206 Share singh kunwar sarvendra vikram 10 Jul 2024 · 1 min read मासूम कोयला एक मासूम से लगने वाले कोयले ने कनक अंगार की चादर ओढ़ ली बिना मायनों वालों को मायनों का भ्रम देकर उनकी प्यासी लालची निगाहों को प्रीत का वहम देकर... Hindi · Hindipoetry · Hindisahitya · Kunwarsarvendravikramsingh · कविता · कुंवरसर्वेंद 169 Share singh kunwar sarvendra vikram 2 Jul 2024 · 1 min read बेईमान बाला ओ काले दिल वाली सजनी, मन है तेरा काला झूठी तेरी कंठी है, झूठी तेरी माला हरदम ओढ़े है फरेब तू, छल को तन में ढाला झूठी तेरी बातें हैं,... Hindi · Best Hindi Poetry · Hindikegeetevamkavitayein · Kunwarsarvendravikramsingh · कुंवरसर्वेंद्रकीकविताएं · बेईमानबाला 253 Share singh kunwar sarvendra vikram 25 Jun 2024 · 1 min read घायल मेरा प्यार....! तुम्हें तुम्हारी जीत मुबारक, मुझे मुबारक हार छल की छुरियों ने कर डाला, घायल मेरा प्यार अपना जीवन बीत रहा था तनहा यूँ ही जीते–जीते बेमानी बातों का मतलब अब... Hindi · Hindi Geet Aur Kavitayein · Kunwar Sarvendra Vikram Singh · Trending Hindi Shayari · कुंवर सर्वेंद्र · घायल मेरा प्यार 1 109 Share singh kunwar sarvendra vikram 22 Jun 2024 · 2 min read सिंहपर्णी का फूल मेरे प्रेम का गुलाब तुमने नोंचकर फेंक दिया और अपनी रेशमी जुल्फ़ों में गूँथ लिया सिंहपर्णी का पीला फूल! गुलाब नोंचने से पहले जरा उसकी रंगत को गौर से देखा... Hindi · Poetry By Kunwar Sarvendra Vik · कविता · कुंवर सर्वेंद्र की कविताएं · प्रेम और विरह की कविताएं · सिंहपर्णी का फूल 2 3 169 Share singh kunwar sarvendra vikram 10 Jun 2024 · 1 min read विरह–व्यथा जैसे अंबर का रीतापन जैसे बगिया का फीकापन जैसे सागर का खारापन जैसे पनघट का सूनापन ठीक वैसे ही होता है विरहन का एकाकीपन –कुंवर सर्वेंद्र विक्रम सिंह *©️®️स्वरचित, सर्वाधिकार... Pain Of Separation · Poetry By Kunwar Sarvendra Vik · कुंवर सर्वेंद्र की कविताएं · विरह–व्यथा · हिंदी कविता 1 144 Share singh kunwar sarvendra vikram 1 Jun 2024 · 1 min read चली लोमड़ी मुंडन तकने....! साठ साल की बड़ी लोमड़ी अंगारों पर चढ़ी लोमड़ी राजकुलों का मुण्डन तकने मचल पड़ी नकचढ़ी लोमड़ी औकातों से ऊँचे सपने देख रही सरचढ़ी लोमड़ी पहले लोगों को फुसलाया फिर... Hindi · Hindi Poetry · Poetry By Kunwar Sarvendra · कविता · कुंवर सर्वेंद्र की कविताएं · लोमड़ी Fox 214 Share singh kunwar sarvendra vikram 28 May 2024 · 1 min read मैं भी कोई प्रीत करूँ....! तुमसे मिलकर लगा युँ मुझको, मैं भी कोई प्रीत करूँ राग–हृदय का तुम्हें बनाकर, खुद में मैं संगीत भरूं हिय की नाव लहर में आई, मापू कैसे मैं गहराई जी... Hindi · Hindi Poem ( हिन्दी कविता ) · Poetry By Kunwar SarvendVikram · कविता · कुंवर सर्वेंद्र · गीत 214 Share singh kunwar sarvendra vikram 19 Mar 2024 · 1 min read अपनी कलम से.....! अपनी कलम से कुछ नया, आयाम चाहता हूं अब तक जो मैं लिख न सका, वो कलाम चाहता हूं अपनी कलम से०..... तू बन–बन कर हवा का झोंका, मेरे मन... Hindi Poem ( हिन्दी कविता ) · Hindi Poems Of Love · Kunwar Sarvendra Vikram Singh · Poetry Of Love · कविता गीत शायरी गजल 179 Share singh kunwar sarvendra vikram 8 Mar 2024 · 1 min read मैं नारी हूं...! मैं नारी हूं सीता सावित्री मैत्रेयी गार्गी और अपाला केवल तन के भूगोल को पढ़ते हे पुरुष ! क्या तुमने मेरे अंतर्मन को भी कभी पढ़ा है पढोगे तो जानोगे... Hindi · Internationl Women's Day · Kunwar Sarvendra Vikram Singh · अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस · कविता · नारी पर हिंदी कविता 1 2 258 Share singh kunwar sarvendra vikram 6 Mar 2024 · 1 min read कई खयालों में...! कई खयालों में मुझको, तू घोल जाती है तेरी आदत है फिर मुझको, भूल जाती है रंग–बिरंगी तितली सी, तू दिल छू जाती है पकडूं कैसे तुझको तू, हरदम उड़... Hindi · Kunwar Sarvendra · TRENDING Kavita Poem Geet · कविता · कुंवर सर्वेंद्र · गीत 161 Share singh kunwar sarvendra vikram 5 Mar 2024 · 1 min read तुझे पाने की तलाश में...! तुझे पाने की तलाश में, दर–दर भटक रहा हूं मिट्टी में हुआ पैदा, मिट्टी में मिल रहा हूं तलवों में जो छाले पड़ते, जलती सी इस रेत में राहत पाने... Hindi · Kunwarsarvendra · कविता · ग़ज़ल/गीतिका · गीत 1 223 Share singh kunwar sarvendra vikram 5 Mar 2024 · 1 min read मेरी भी कहानी कुछ अजीब है....! मेरी भी कहानी, कुछ अजीब है मेरा कोई दोस्त, न रकीब है जिंदगी है एक तितली, रंग लेके हाथ फिसली जाने हाथ किसके, अब नसीब है मेरी भी कहानी,कुछ अजीब... Hindi · कविता · गीत 124 Share singh kunwar sarvendra vikram 19 Sep 2023 · 1 min read चलो प्रिये तुमको मैं संगीत के क्षण ले चलूं....! चलो प्रिये तुमको मैं, संगीत के क्षण तक ले चलूं रूप में भीगे तेरे मन को, मैं गीत के मन तक ले चलूं जीवन रूप बदल दूं तेरा, बदलूं मैं... Hindi Poetry · हिंदी कविता 2 696 Share singh kunwar sarvendra vikram 17 Sep 2023 · 1 min read यादों के बादल तेरी यादों ने आज बादल बनकर, मुझको है घेरा सर्द बूंदों सी आहों में जल रहा, दिल ये फिर मेरा भरा था तुमने जो रंग मेरे, इन कोरे से पन्नों... Hindi · Hindi Poetry · Kunwar Sarvendra 647 Share singh kunwar sarvendra vikram 11 Sep 2023 · 1 min read तेरे प्यार के राहों के पथ में तेरे प्यार की राहों के पथ में, मैं स्वर के दीप जलाएं हैं महकी–महकी निश रजनी में, मैं पूनम चांद उगाएं हैं मैं टूटा तारा भोर प्रहर, खिलती मुस्कानें मेरे... Poem 2 2 442 Share singh kunwar sarvendra vikram 16 Nov 2021 · 1 min read आँगन में एक पेड़ चाँदनी....! आँगन में एक पेड़ चाँदनी....! _________________________________________________ आँगन में एक पेड़ चाँदनी, सात सितारे टंके हुए सिंदूरी शामों की पलकें, रातों को यूँ ढ़ंँके हुए केसर रंगे हुए शीशों में, मरमरी... Hindi · गीत 2 353 Share