Kshma Urmila Tag: Chand 2 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Kshma Urmila 2 Feb 2024 · 1 min read *चाँद कुछ कहना है आज * ( 17 of 25 ) *चाँद कुछ कहना है आज* हर पूर्णिमा को चाँद तुमसे जिस परी ने मिलवाया था , तुम्हारी सुन्दर छवि निहारना उन्होंने ही तो सिखलाया था , लोग देखते थे दाग... Poetry Writing Challenge-2 · Chand · Hindipoem2024 · Maa · कविता 2 191 Share Kshma Urmila 28 Jan 2024 · 1 min read पिघलता चाँद ( 8 of 25 ) *पिघलता चाँद* अंधियारे से ,कभी ना ड़रता बढ़ती रात , निखरता चांद.... धूप के दिए ,जख्म देख कारुणा से ,पिघलता चांद.... सुकून भरी है , असीमित ठंडक रोशनी के ,दरिया... Poetry Writing Challenge-2 · Chand · Hindipoem2024 · कविता 2 128 Share