बिमल तिवारी आत्मबोध Language: Hindi 11 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid बिमल तिवारी आत्मबोध 22 Sep 2022 · 4 min read *आधुनिक सॉनेट का अनुपम संग्रह है ‘एक समंदर गहरा भीतर’* *आधुनिक सॉनेट का अनुपम संग्रह है ‘एक समंदर गहरा भीतर’* बिमल तिवारी “आत्मबोध”।अंग्रेज़ी और फ्रेंच साहित्य को पढ़ते समय मैं सॉनेट रूप में कई गीत, कविताओं को पढ़ा। जो नाटक... Hindi · बिमल तिवारी · वेद मित्र शुक्ल · हिंदी कविता · हिंदी सॉनेट 1 435 Share बिमल तिवारी आत्मबोध 13 Sep 2022 · 1 min read हिंदी दिवस क्या भारतीय न्यायालयों की भाषा हिंदी हो गई हैं ? क्या भारत में कॉरपोरेट की भाषा हिंदी हो गई है ? क्या भारतीय सिविल सोसाइटी के व्यवहार में हिंदी आ... Hindi · हिंदी दिवस · हिंदी भाषा · हिंदी है हम 220 Share बिमल तिवारी आत्मबोध 4 Sep 2022 · 1 min read श्री राधा जन्माष्टमी ।।श्रीराधे।। लक्ष्मी की अवतार हैं राधा विष्णु की चमत्कार हैं राधा जगत में जो ईश्वर कहलाया उस कृष्ण की आधार हैं राधा वृंदावन की बहार हैं राधा मधुवन की झंकार... Hindi · श्री राधा कृष्ण · श्री राधा जन्माष्टमी 378 Share बिमल तिवारी आत्मबोध 29 Aug 2022 · 1 min read खेल दिवस पर विशेष ।।खेल दिवस पर विशेष।। खेल में नहीं होता हैं कोई हिन्दू मुसलमान खेल में नहीं होता हैं ऊँचा, नीचा, महान खेल हैं सद्भावना मिल जाता हैं जिसमें सभी खेल में... Hindi · खेल · गेम्स · ध्यानचंद 206 Share बिमल तिवारी आत्मबोध 15 Aug 2022 · 1 min read आज़ादी का अमृत महोत्सव आज़ाद वतन की माटी अब इतनी खामोश क्यु हैं ? आज़ादी में रहने की, क्या हमको कोई आदत ही नही आज़ाद चमन है आज़ाद गगन है पवन भी है आज़ाद... Hindi · 15 अगस्त · आज़ादी का अमृत महोत्सव · आज़ादी का गीत · स्वतंत्रता दिवस 211 Share बिमल तिवारी आत्मबोध 6 Apr 2022 · 1 min read यूक्रेन युद्ध और नवजात शिशु #यूक्रेन_युद्ध_और_नवजात_बच्चा ------------------------------------- अभी अभी जन्में बच्चें ने रोने से पहले सुनी, बम के धमाको की तेज आवाज़ देखी, आसमान से गिरते मिसाइलों की चमक महसूस की, आसमान छूती इमारतों को... Hindi · कविता 1 1 219 Share बिमल तिवारी आत्मबोध 27 Jan 2022 · 1 min read एक क्षणिका * *एक क्षणिका** ------------------------------ जब भी अम्मा गईया माता को कौरा खिलाने आती। मुहल्ले के 3-4 आवारा कुत्ते भी गईया माता का कौरा खा जाते। गईया माता तो कुछ नही... Hindi · लघु कथा 306 Share बिमल तिवारी आत्मबोध 21 Jan 2022 · 1 min read लोकतंत्र का खेल लोकतंत्र का खेला देखों सत्ता ख़ातिर मेला देखों बदल रहें हैं पाला कैसे ? गुरुओं के सँग चेला देखों बिना बात के झंझट झगड़े बेमतलब का झमेला देखों जगह नहीं... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 1 264 Share बिमल तिवारी आत्मबोध 31 Dec 2021 · 1 min read *समसामयिक ग़ज़ल : भगवान बेच देंगे* *समसामयिक ग़ज़ल : भगवान बेच देंगे* -------------------------------------------------- सत्ता ख़ातिर अपना मज़हब ईमान बेच देंगे बहु,बेटी, बहन और अपना मकान बेच देंगे बेच कर पा गए सत्ता ग़र ये सभी ज़नाब,तो... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 185 Share बिमल तिवारी आत्मबोध 9 Dec 2021 · 1 min read विपिन रावत श्रद्धांजलि #CDS_विपिन_रावत ? ************ आपको इतनी जल्दी जाने की क्या ज़िद हैं , की दुश्मनों में ख़ौफ़ का तेरा नाम बाकी हैं , लौट आओ छोड़कर जाने वाले वतन को ,... Hindi · मुक्तक 1 1 452 Share बिमल तिवारी आत्मबोध 5 Dec 2021 · 1 min read प्रेम गीत #गीत_ओ_मनभावनी_रे ---------------------------- #ओ_मेरी_रागिनी #ओ_मनभावनी_रे चाँदनी का वसन कुमुदनी सी लहक चंपा की महक माँग में सजी तारों की छावनी रे ओ मेरी रागिनी ओ मनभावनी रे पवन का झोंका कोई... Hindi · गीत 223 Share