कुमार अविनाश केसर Language: Bhojpuri 3 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid कुमार अविनाश केसर 22 Feb 2022 · 1 min read बसंत के गीत कहीं तीसी फुला गइल, कहीं मिसरी घुला गइल। इ बसंत आवत - आवत, हियरा जुड़ा गइल। लीचियो के डारी मोजर, अमवो के गाछ साजल। कोइली विदेशी आके, सब डार -... Bhojpuri · गीत 1 461 Share कुमार अविनाश केसर 22 Feb 2022 · 1 min read जनता ज़िंदाबाद हो गईल!! जनता ज़िंदा लाश हो गईल, घोड़वन स के घास हो गईल. जिनगी सब के झंड बनल बा, नेतवन के घमंड चढ़ल बा. जनधन योजना सबकर घर के धनवा धो गईल.... Bhojpuri · कविता 1 232 Share कुमार अविनाश केसर 22 Feb 2022 · 1 min read भँवरा बन बउराइल साजन रहिया उनकर देखत-देखत भर गइल अँखिया लोर। बटिया जोहत हियरा लचके जैसे बाँस मकोर।। भइल सजनिया चंदा मुखड़ा जैसे आँख चकोर, छटपट-छटपट जियरा तड़पे, चैन मिले ना थोड़। ए सखी,... Bhojpuri · कविता 1 418 Share