ज़ैद बलियावी Tag: ग़ज़ल/गीतिका 18 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid ज़ैद बलियावी 6 Jul 2023 · 1 min read "रात यूं नहीं बड़ी है" रात यूं नहीं बड़ी है, तेरे इंतज़ार की घड़ी है, वो चांद सा है चेहरा लब फूल की लड़ी है, वो पंखुड़ी सी पलके और झील सी है आंखे, मैसम... Hindi · कविता · ग़ज़ल · ग़ज़ल/गीतिका · गीत · गीतिका 2 1 193 Share ज़ैद बलियावी 1 Oct 2021 · 1 min read "ग़ज़ल" खुद को आईने में देखकर जी भर गया होगा.. वो जिंदा भी होगा तो किरदार मर गया मेरा.. शहर भर में उसने मुझको ढूंढा होगा बहुत, मगर लौटकर खाली हाथ... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 1 393 Share ज़ैद बलियावी 23 Aug 2021 · 1 min read छोड़ दो.. खुले अम्बर में सितारों को लरज़ता छोड़ दो, मेरी आंखों को बादल सा बरसता छोड़ दो.. वही राह ए दफ्तर है मगर ये डर है, कही ऐसा न कह दो... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 1 3 511 Share ज़ैद बलियावी 20 Jul 2021 · 1 min read "ग़ज़ल" – बेदाग़ किया था उसने.. इश्क़ के इल्ज़ाम से खुद को बेदाग़ किया था उसने.. सर झुकाया और आंखो से आदाब किया था उसने.. ******* दूर होकर उनसे मै बदहवासी में था.. गले लगाकर मुझको... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 307 Share ज़ैद बलियावी 28 May 2021 · 1 min read "ग़ज़ल" सबसे छुपा के रखते हैं दिखाई नहीं जाती, हर इक से दिल की बात बताई नही जाती हर बज़्म में रखता हूं मैं खामोश लबों को.. चन्द लफ्जो में दिल... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 1 290 Share ज़ैद बलियावी 9 Feb 2021 · 1 min read "मुहब्बत करने वाले" दूर खड़े होकर ये मुस्कुराने वाले.. कितने ज़ालिम है ये दिल को जलाने वाले.. गुज़रता हूं पास से तो रोकते ही नहीं.. पत्थर दिल है मेरी रुक्सती पर हाथ हिलाने... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 1 460 Share ज़ैद बलियावी 28 Jan 2021 · 1 min read "तेरी याद" तेरी याद से उभरना चाहता हूं, हर दर्द से गुजरना चाहता हूं., अब न कोई हद रोके मुझको, हर हद से गुजरना चाहता हूं., मै बिखरा था किसी की वफ़ा... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 1 414 Share ज़ैद बलियावी 19 Aug 2020 · 1 min read ज़ैद बलियावी की ताज़ा शेर अपने हौसलों की रफ्तार बचाना मुश्किल है.. नफ़रत में डूबे अख़बार बचाना मुश्किल है.. चला रहे हो खंजर तो काट दो गर्दन भी.. सर झुका दिया तो दस्तार बचाना मुश्किल... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 1 2 405 Share ज़ैद बलियावी 9 Apr 2020 · 1 min read की_तुम_अपने_घर_मे_रहो.. ज़रा सा दूर मगर अपनो की नज़र मे रहो, मेरी इल्तिजा है तुमसे की तुम अपने घर मे रहो.. बड़ा मुश्किल है क़ैद कर पाना खुदको, मगर परों पर नही... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 2 3 557 Share ज़ैद बलियावी 19 Jul 2019 · 1 min read गज़ल ज़ुल्फो से घटा आँखो से जाम मिल जाए.. तुम जो राज़ी हो तो मोहब्बत को मुकाम मिल जाए.. ***** हाथो मे तेरा हाथ और ज़िंदगी को तेरा साथ.. मज़ा आ... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 2 327 Share ज़ैद बलियावी 3 Aug 2018 · 1 min read "गज़ल" दिल भी..जान भी..जहां भी तेरा.. सौदा कच्चा नही नही है... यु तेरा उदास रहना.. अच्छा नही है.. चाहू तो नाम तुझको भी देदू चाँद का... मगर तेरे हुस्न मे दाग... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 1 462 Share ज़ैद बलियावी 26 Mar 2018 · 1 min read "ख्वाहिश" जान इसलिए तुमपर कुर्बान करने को मन करता है.. की किसी शाम तेरी आँखो का जाम पिने को मन करता है.. मौत लाजीम है आ ही जायेगी किसी-न-किसी दिन.. बस... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 1 695 Share ज़ैद बलियावी 22 Mar 2018 · 1 min read "माँ" बढता हू कदम-दर-कदम एक नई खोज से.. लिखना किया है शुरू मैने..चन्द रोज से.. भूला नही हू अदब.. अपने बड़ो का मै.. सीखा था ये हुनर जो माँ की गोद... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 1 354 Share ज़ैद बलियावी 19 Jan 2018 · 1 min read उनकी बेरुखी जिनको हम नज़रो में समा बैठे है, वही मुझको नज़रो से गिरा बैठे है! जिनकी आंखों से लिपटा था काजल की तरह, वही अपना काजल बहा बैठे है! जिनपर हम... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 1 779 Share ज़ैद बलियावी 19 May 2017 · 1 min read "पुरानी डायरी" एक पुरानी डायरी मे, मुझको तेरा पता मिला.., कुछ पुरानी यादे मिली, कुछ पुराना वफ़ा मिला.., सब लिखा था डायरी मे, ज़ुल्फ़ से लेकर पाँव तक.., तेरी-मेरी दिल लगी से,... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 1 817 Share ज़ैद बलियावी 1 Apr 2017 · 1 min read "उनकी यादे" भूलती नही जिनकी यादे, काश! मुझे ढूँढ़ती उनकी आँखे,, मैं हर लम्हा उनके साथ होता, याद आती है जिनकी बाते,, वो सुबह,वो शाम,वो नए साल की राते, कैसे भूल जाऊ... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 1 1 856 Share ज़ैद बलियावी 26 Mar 2017 · 1 min read "तुम" - एक गज़ल मेरी सुबह हो तुम, मेरी शाम हो तुम! हर ग़ज़ल की मेरे, नई राग़ हो तुम! मेरी आँखों मे तुम, मेरी बातों मे तुम! बसी हो जैसे, मेरी साँसो मे... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 3 800 Share ज़ैद बलियावी 12 Mar 2017 · 1 min read "ये मायूसी" मेरे चेहरे की मायूसी, हरदम यही बताती है। जब भी तन्हा होता हूँ मैं, याद तेरी सताती है। हल्की हवाए चलती है जो, मेरे कानो को कुछ कह जाती है।... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 1 579 Share