Ranjana Mathur Tag: कुण्डलिया 3 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Ranjana Mathur 19 Sep 2017 · 1 min read =-=-=-दुनिया के रंग - =-=-= मतलब की है यह दुनिया, चले दो रंगी चाल। जब तक आपसे स्वार्थ है, आप हो बेमिसाल।। आप हो बेमिसाल, कोई न आप से प्यारा। ज्यों ही मकसद पूर्ण हुआ,... Hindi · कुण्डलिया 723 Share Ranjana Mathur 15 Sep 2017 · 1 min read == नतीजे आएंगे == पता नहीं क्यों आज देश के बहुत हुए बदतर हालात। हत्या, उपद्रव, बाढ़, दुर्घटनाओं से पहुंचा जन-जन को आघात। जन-जन को आघात आकाओं को नहीं है फुरसत। वोट बटोरना जनता... Hindi · कुण्डलिया 532 Share Ranjana Mathur 9 Sep 2017 · 1 min read कुण्डलिया साथ बुरे का दोगे तो खुद भी बुरे कहलाओ। कोयले की ये कोठरी कैसे खुद को बचाओ। कैसे खुद को बचाओ बहुत कठिन है भाई। संगत की रंगत तो हरदम... Hindi · कुण्डलिया 422 Share