Abhishek bharti 2 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Abhishek bharti 9 Oct 2016 · 1 min read हौसला जख्म देती इस ज़िन्दगी को समर्पित कुछ पंक्तिया। मैं तो दरिया हूँ बहता ही चला जाऊंगा, तू जख्म दे मैं सहता ही चला जाऊंगा, तू ना सोच खुश्बू कभी कम... Hindi · शेर 2 1 537 Share Abhishek bharti 9 Oct 2016 · 1 min read सावन शिर्षक=सावन मुझको भी कुछ अब कहने दो। ये जो सावन है इसे रहने दो। बरखा सा मैं भी तो बरसा था। उनके भी सितम अब सहने दो। सावन ने ये... Hindi · कविता 565 Share