VINOD CHAUHAN 446 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid VINOD CHAUHAN 16 Jun 2024 · 1 min read समझ ना पाया अरमान पिता के कद्र न की जज़्बातों की समझ ना पाया अरमान पिता के कद्र न की जज़्बातों की वो बेटा क्या जाने उसकी नींद कहाँ गई रातों की बेटे को कोई फिक्र नहीं है पिता कहाँ रहता... Quote Writer 2 33 Share VINOD CHAUHAN 15 Jun 2024 · 1 min read वो कहते हैं कहाँ रहोगे वो कहते हैं कहाँ रहोगे इतने बड़े जहाँ में मैं कहता हूँ इतना बड़ा जहाँ है तो फिक्र कैसी Quote Writer 2 40 Share VINOD CHAUHAN 15 Jun 2024 · 1 min read ये दौलत ये नफरत ये मोहब्बत हो गई ये दौलत ये नफरत ये मोहब्बत हो गई खुदा से बढ़कर खुदा की इबादत को भूला बैठे हैं हकीकत में सभी Quote Writer 1 30 Share VINOD CHAUHAN 15 Jun 2024 · 1 min read चंद सवालात हैं खुद से दिन-रात करता हूँ चंद सवालात हैं खुद से दिन-रात करता हूँ मैं चुप रहकर भी दीवारों से बात करता हूँ Quote Writer 1 33 Share VINOD CHAUHAN 9 Jun 2024 · 1 min read दीप जगमगा रहे थे दिवाली के दीप जगमगा रहे थे दिवाली के शायद शायद हँस रहे थे सभी मेरी कंगाली पे Quote Writer 2 33 Share VINOD CHAUHAN 5 Jun 2024 · 1 min read जिंदगी हर रोज जिंदगी हर रोज एक नई तारीख दे जाती हैं जाते हैं सुबह तारीख पर तो फिर से तारीख पे तारीख दिए जाती है Quote Writer 5 43 Share VINOD CHAUHAN 5 Jun 2024 · 1 min read पेड़ों की छाया और बुजुर्गों का साया पेड़ों की छाया और बुजुर्गों का साया बहुत सी विपदाओं से बचाते हैं हमें Quote Writer 2 41 Share VINOD CHAUHAN 5 Jun 2024 · 1 min read फूल तितली भंवरे जुगनू फूल तितली भंवरे जुगनू इतराते बहुत है जो भी हो सामने इनके दिल बहलाते हैं फूल यौवन पे हों तो चमन महक जाए और महकें ऐसा कि मन बहक जाए... Hindi · V9द चौहान · कविता 1 35 Share VINOD CHAUHAN 3 Jun 2024 · 1 min read मत कुचलना इन पौधों को मत कुचलना इन पौधों को किसी की जान हैं ये किसी का हर्ष किसी की हँसी किसी का गुमान हैं ये पौधे < बच्चे Quote Writer 2 48 Share VINOD CHAUHAN 3 Jun 2024 · 1 min read इन दरख्तों को ना उखाड़ो इन दरख्तों को ना उखाड़ो ये तुमको छाया देंगे जिंदा रहेंगे तभी तो ये प्राणदायिनी हवा देंगे दरख्त < बुजुर्ग Quote Writer 3 40 Share VINOD CHAUHAN 3 Jun 2024 · 1 min read आज बुजुर्ग चुप हैं आज बुजुर्ग चुप हैं उनकी सुनता कौन है इसीलिए उनकी जुबां भी मौन है उनकी आत्मा भी मौन है Quote Writer 1 35 Share VINOD CHAUHAN 3 Jun 2024 · 1 min read मैं जैसा हूँ लोग मुझे वैसा रहने नहीं देते मैं जैसा हूँ लोग मुझे वैसा रहने नहीं देते और लोगों के जैसा मुझे बनना नहीं है Quote Writer 3 36 Share VINOD CHAUHAN 1 Jun 2024 · 1 min read कलम और रोशनाई की यादें तख्तियों पर शब्द उकेरे हैं हमने रोशनाई से बहुत लिखा है हमने मन लगाकर रोशनाई से मगर अब ना वो तख्ती है ना ही रोशनाई है गर्व होता था सबको... Hindi · V9द चौहान · कविता 2 1 55 Share VINOD CHAUHAN 1 Jun 2024 · 1 min read तू ना मिली तो हमने तू ना मिली तो हमने तेरा इंतजार ही छोड़ दिया मर तो नहीं जाएंगे हम तुझसे सरोकार भी छोड़ दिया ये ना सोच कि तुझ बिन दो वक्त की रोटी... Quote Writer 1 34 Share VINOD CHAUHAN 31 May 2024 · 1 min read दो वक्त की रोटी नसीब हो जाए दो वक्त की रोटी नसीब हो जाए यही बहुत है जिंदगी जीने के लिए ये दौलतें ये शोहरतें ये महफिले है तेरी सुकून देंगी नहीं सदा तुझे जीने के लिए Quote Writer 2 36 Share VINOD CHAUHAN 31 May 2024 · 1 min read बहुत खुश था बहुत खुश था औलाद को कामयाब बना कर वह बुजुर्ग बहुत रोया वह जब उसे छोड़कर बेटा शहर को निकला Quote Writer 1 40 Share VINOD CHAUHAN 31 May 2024 · 1 min read अंजान बनते हैं वो यूँ जानबूझकर अंजान बनते हैं वो यूँ जानबूझकर जैसे उनको कुछ पता ही नहीं दिल जलाते हैं वो हाल पूछ-पूछ कर जैसे उनकी कोई खता ही नहीं Quote Writer 1 30 Share VINOD CHAUHAN 31 May 2024 · 1 min read कब तक यूँ आजमाएंगे हमसे कहो हुजूर कब तक यूँ आजमाएंगे हमसे कहो हुजूर कहाँ तलक यूँ जाएंगे हमसे कहो हुजूर देखी नही क्या आपने मेरी फितरत बुरी नही इल्ज़ाम क्या लगाएंगे हमसे कहो हुजूर सुनता नहीं... Hindi · V9द चौहान · ग़ज़ल 1 41 Share VINOD CHAUHAN 31 May 2024 · 1 min read I don't listen the people I don't listen the people As they always hurt my heart I don't listen the people They ask me about my job How I make my living They know I'm... English · Poem · V9द चौहान 2 42 Share VINOD CHAUHAN 30 May 2024 · 1 min read काबिल बने जो गाँव में काबिल बने जो गाँव में वो शहर के हो गए हैं सच ही कहा है किसी ने वो भीड़ में खो गए हैं Quote Writer 3 43 Share VINOD CHAUHAN 30 May 2024 · 1 min read वो जो आए दुरुस्त आए वो जो आए दुरुस्त आए मेरे जनाजे पे आए कोई कह दो उनको शुक्रिया बहुत तकाजे से आए Quote Writer 1 28 Share VINOD CHAUHAN 30 May 2024 · 1 min read मुझे मालूम हैं ये रिश्तों की लकीरें मुझे मालूम हैं ये रिश्तों की लकीरें बहुत बढ़ चुकी हैं और दिखाई भी नहीं देती Quote Writer 1 40 Share VINOD CHAUHAN 30 May 2024 · 1 min read बहुत झुका हूँ मैं बहुत झुका हूँ मैं रिश्तों को संभालते संभालते लोग थकते ही नहीं है नुक्श निकलते निकलते Quote Writer 34 Share VINOD CHAUHAN 30 May 2024 · 1 min read जो बुजुर्ग कभी दरख्त सा साया हुआ करते थे जो बुजुर्ग कभी दरख्त सा साया हुआ करते थे आज लोग घास की तरह उनको उखाड़ फेंक देते हैं Quote Writer 1 39 Share VINOD CHAUHAN 30 May 2024 · 1 min read बड़ी मुद्दतों के बाद बड़ी मुद्दतों के बाद किसी ने हाल पूछा है हमसे लगता है मुझको आज घटाएँ मेहरबान है खूब बरसेंगी Quote Writer 1 35 Share VINOD CHAUHAN 30 May 2024 · 1 min read मेरी उम्मीदों पर नाउम्मीदी का पर्दा न डाल मेरी उम्मीदों पर नाउम्मीदी का पर्दा न डाल बहुत दिनों बाद ख्वाब संजोया है मैंने Quote Writer 1 34 Share VINOD CHAUHAN 30 May 2024 · 1 min read वो न जाने कहाँ तक मुझको आजमाएंगे वो न जाने कहाँ तक मुझको आजमाएंगे कहाँ तलक वो रास्तों में कांटे बिछाएंगे मैं चलता रहूँगा इन पर बेपरवाहों की तरह कम से कम उनके कलेजे तो ठंडे हो... Quote Writer 2 40 Share VINOD CHAUHAN 30 May 2024 · 1 min read कद्र माँ-बाप की जिसके आशियाने में नहीं कद्र माँ-बाप की जिसके आशियाने में नहीं उसके जैसा बेगैरत इस जमाने में नहीं जो तौहीन करता हैं माँ-बाप की बुढ़ापे में उसके जैसा कोई निर्लज्ज जमाने में नहीं Quote Writer 1 48 Share VINOD CHAUHAN 30 May 2024 · 1 min read बहुत तरासती है यह दुनिया जौहरी की तरह बहुत तरासती है यह दुनिया जौहरी की तरह जो तप जाते हैं वही तो हीरे बनकर निखरते हैं Quote Writer 1 43 Share VINOD CHAUHAN 30 May 2024 · 1 min read कौन किसके सहारे कहाँ जीता है कौन किसके सहारे कहाँ जीता है मै अपना गम पीता हूँ और वो अपना गम पीता है Quote Writer 1 47 Share VINOD CHAUHAN 30 May 2024 · 1 min read सारी उम्र गुजर गई है सारी उम्र गुजर गई है उनकी खुदा को पुकारते मगर ना तो किसी ने बात सुनी ना किसी ने सहारा ही दिया सारी उम्र गुजर गई उनके मिन्नतें करते ना... Quote Writer 2 2 45 Share VINOD CHAUHAN 29 May 2024 · 1 min read सादगी अच्छी है मेरी सादगी अच्छी है मेरी ऊँची लियाकत वालों से मैं मुँह में राम बगल में छुरी नहीं रखता Quote Writer 2 2 47 Share VINOD CHAUHAN 29 May 2024 · 1 min read यह मेरी मजबूरी नहीं है यह मेरी मजबूरी नहीं है कि मैं कुछ नहीं कहता जुबान मुझको भी मिली है पर मुकाबला जरूरी नहीं Quote Writer 1 47 Share VINOD CHAUHAN 29 May 2024 · 1 min read शहर में आग लगी है उन्हें मालूम ही नहीं शहर में आग लगी है उन्हें मालूम ही नहीं वोट मांगने निकला है जरूर जनप्रतिनिधि जनहितैषी ही होगा Quote Writer 1 41 Share VINOD CHAUHAN 29 May 2024 · 1 min read खुद क्यों रोते हैं वो मुझको रुलाने वाले खुद क्यों रोते हैं वो मुझको रुलाने वाले कब्र पे बैठे हैं क्यों मुझको भुलाने वाले Quote Writer 2 44 Share VINOD CHAUHAN 29 May 2024 · 1 min read बड़े ही खुश रहते हो बड़े ही खुश रहते हो हमसे यूँ ठिठोली करके बादलों में छिप जाते हो आँख मिचोली करके Quote Writer 1 46 Share VINOD CHAUHAN 29 May 2024 · 1 min read लोट के ना आएंगे हम जो तुम रहोगे खफा तो चले जाएंगे हम चले गए जो कभी लौट के ना आएंगे हम जो तुम रहोगे खफा.............. तुम्हारे बिन ये महफिलें ये नजारे कुछ नहीं है... Hindi · V9द चौहान · गजल 1 31 Share VINOD CHAUHAN 29 May 2024 · 1 min read Don't pluck the flowers Don't pluck the flowers They are very cute and adorable Don't pluck the flowers The provide food to the insects As nectar to the bees Butterflies and bumble-bees Don't pluck... English · Poem · V9द चौहान 2 39 Share VINOD CHAUHAN 29 May 2024 · 1 min read I want to hug you O Clouds O stars Why are you so far Come to me I want to touch you I want to hug you O Sun of the sky Why are you... English · Poem · V9द चौहान 1 45 Share VINOD CHAUHAN 28 May 2024 · 1 min read I've lost myself I've lost myself Don't know when and where I've lost myself As a child I was full of joy I knew nothing About worries of life I fly with the... English · Poem · V9द चौहान 1 45 Share VINOD CHAUHAN 28 May 2024 · 1 min read लोग कहते हैं कि लोग कहते हैं कि बहुत बदल गए हो आज-कल मैं यह कहता हूँ खुद को देख लो या जमाना देख लो Quote Writer 1 50 Share VINOD CHAUHAN 28 May 2024 · 1 min read बचपन में लिखते थे तो शब्द नहीं बचपन में लिखते थे तो शब्द नहीं स्याही खत्म हो जाती थी आज लिखते हैं तो स्याही तो है मगर शब्द नहीं मिलते Quote Writer 1 60 Share VINOD CHAUHAN 28 May 2024 · 1 min read हम सम्भल कर चलते रहे हम सम्भल कर चलते रहे लाख कोशिशें करके मगर गिरने वालों ने हमको गिराकर छोड़ा Quote Writer 1 45 Share VINOD CHAUHAN 28 May 2024 · 1 min read अरे आज महफिलों का वो दौर कहाँ है अरे आज महफिलों का वो दौर कहाँ है और जब हम आते थे चहुंओर से उठने वाला वो शोर कहाँ है Quote Writer 1 54 Share VINOD CHAUHAN 28 May 2024 · 1 min read भगवान भी रंग बदल रहा है सच्च कहें आज इंसान ही नहीं सुनो भगवान भी रंग बदल रहा है पहले मिल जाता था कभी पहाड़ों पर, कभी जंगलों में मगर आज बड़े-बड़े देवालयों में भी नहीं... Hindi · V9द चौहान · कविता 1 40 Share VINOD CHAUHAN 27 May 2024 · 1 min read अरे ! मुझसे मत पूछ अरे ! मुझसे मत पूछ क्या-क्या कहते हैं जमाने वाले मुझको मालूम है उंगलियां ही नहीं पत्थर भी उठाते हैं उठाने वाले Quote Writer 1 43 Share VINOD CHAUHAN 27 May 2024 · 1 min read हकीकत की जमीं पर हूँ हकीकत की जमीं पर हूँ मैं जबसे ख्यालों से गिरा हूँ खुदा ही जानता है मैं कितने सवालों में घिरा हूँ Quote Writer 1 37 Share VINOD CHAUHAN 27 May 2024 · 1 min read लोग समझते हैं लोग समझते हैं मैं अकेला घुट घुट के मर जाऊँगा यूँ ही मैं अकेला कहाँ मेरी तन्हाईयां मेरे साथ हैं हर घड़ी Quote Writer 1 41 Share VINOD CHAUHAN 27 May 2024 · 1 min read तुमको हक है जिंदगी अपनी जी लो खुशी से तुमको हक है जिंदगी अपनी जी लो खुशी से हम तो महफिल का आखिरी बुझता चिराग ही सही Quote Writer 1 51 Share VINOD CHAUHAN 27 May 2024 · 1 min read क्या बिगाड़ लेगा कोई हमारा क्या बिगाड़ लेगा कोई हमारा हमको जलजलों के साथ चलने की आदत सी हो गई है वे सोचते हैं कि टूट कर बिखर जाएंगे हम शायद वे हमारी फितरत से... Quote Writer 1 52 Share Page 1 Next