Umender kumar Language: Hindi 126 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Previous Page 2 Next Umender kumar 27 Aug 2021 · 1 min read कोई तो याद करेगा कभी तो याद करेगा लिख दिया करते थे शब्दों को कभी कागज पर अपने दिल का हाल जानकर गुमनामी में ही सही निशान तो रहेंगे हमारे जाने के बाद कोई तो याद करेगा कभी... Hindi · कविता 495 Share Umender kumar 27 Aug 2021 · 1 min read मिलने की चाहत तुमसे मिलने की चाहत है पर तुम उस पार बैठे हो अजब किस्मत है हमारी जब हम उस पार पहुंचे तो तुम इस पार बैठे हो तुम्हारे इश्क की दीवानगी... Hindi · कविता 2 351 Share Umender kumar 27 Aug 2021 · 1 min read मैं जाऊं कहां, कोई तो बताए मैं आ जाऊं कहां, अपनी करुण पुकार सुनाऊं कहां, जिसे हम मुसीबत में पुकारते थे, जा कर दरवाजे दरवाजे हम सदके करते थे, आज सभी के कपाट... Hindi · कविता 1 692 Share Umender kumar 27 Aug 2021 · 1 min read अपनों की भूख का डर रुक जा अब तो के अब बहुत हुआ, बक्श दे सबको के अब बहुत हुआ, जी लेने दे सबको के अब बहुत हुआ, अब तो खुद का कत्ल हुआ सा... Hindi · कविता 1 362 Share Umender kumar 27 Aug 2021 · 1 min read सूरज का गर्व सूरज को भी आज अपने चांद पर गर्व है, कि , धरती वाले चांद आज मेरी जान को देखते हैं, और मेरी जान से दुआ मांगते हैं, कि , उनके... Hindi · मुक्तक 1 282 Share Umender kumar 25 Aug 2021 · 1 min read हम तो खाली हाथ थे लुटा कर बैठा महफिल में था सब अपना, क्या पता था, लूटने वाले फिर भी ना छोड़ेंगे... गम इस बात का नहीं के लुटे को लूट लिया, अफसोस रहा के,... Hindi · मुक्तक 4 487 Share Umender kumar 25 Aug 2021 · 1 min read तेरे संग रहना मजबूरी सी लगती है, तेरे संग रहना मजबूरी सी लगती है, तेरे संग जीना भी चाहा और मरना भी चाहा मगर अब तेरे संग मजबूरी सी लगती है अगर समझ लेती तुम मेरा दर्द... Hindi · कविता 2 524 Share Umender kumar 16 Aug 2021 · 1 min read "वक्त“ मत दो मुझे, "वक्त“ मत दो मुझे, मशगूल रहने दो जरा भी "वक्त" मिला तो मैं नहीं रहूंगा किसी की याद में ... उमेंद्र कुमार Hindi · मुक्तक 3 2 310 Share Umender kumar 16 Aug 2021 · 1 min read मैं शहंशाह हूं हम " दर्द ए शहंशाह ए आलम“ एलान करते हैं जहां के सारे दर्दो को हमारे महल में जमा करा दिया जाए हम एक-एक कर उनसे रूबरू होंगे... उमेंद्र कुमार Hindi · मुक्तक 2 2 330 Share Umender kumar 13 Aug 2021 · 1 min read घमंड बेल समान बेल हो बेल ही रहना, ऊपर चढ़ने की इजाजत क्या दे दी अपने दरख़्त समझने लगे..... अक्सर मौसम बदलने के साथ बेले बदल जाया करती है.. उमेंद्र कुमार Hindi · मुक्तक 2 366 Share Umender kumar 13 Aug 2021 · 1 min read हम मतलबी ना हो पाए बड़ा अफसोस है हमें, के हम उन शब्दों की तरह ना हो पाए जिन के दो मतलब निकलते हैं... उमेंद्र कुमार Hindi · मुक्तक 2 338 Share Umender kumar 8 Aug 2021 · 1 min read बीच मझधार छोड़ चले गए दर्द देने वाले बखूबी अपना काम कर गए, हमदर्दी दिखाने वाले बीच मझधार छोड़ चले गए, मालूम था हमें हमदर्द कोई नहीं दुनिया में, बड़ी-बड़ी डींगे मारने वाले बीच मझधार... Hindi · कविता 2 915 Share Umender kumar 7 Aug 2021 · 1 min read उसकी खुशी में मेरी खुशी लोग कहते हैं इतनी शिद्दत के साथ वह तुम्हें सुनाता है और तुम इतनी ही मासूमियत के साथ सुनते रहते हो, मैंने कहा, वह अपनी इसमें खुशी समझता है, मैं... Hindi · मुक्तक 2 477 Share Umender kumar 6 Aug 2021 · 1 min read मेरी अंदरूनी आवाज एक दिन एक आवाज आई और कहती है के तू क्यों उदास है मैं जानता तो हूं मैं जानता तो हूं , तेरी उदासी को काम निकल जाने के बाद... Hindi · लेख 2 698 Share Umender kumar 6 Aug 2021 · 1 min read हम पत्थर दिल ही सही अगर तू समझे हम पत्थर दिल है तो भी कोई अफसोस नहीं, मगर याद रखना, नदियों के स्त्रोत पत्थरों के पहाड़ हुआ करते हैं उमेंद्र कुमार Hindi · मुक्तक 2 359 Share Umender kumar 6 Aug 2021 · 1 min read मेरी जिंदगी मे तुझसे बढ़कर कोई नहीं तेरे ख्वाबों को जीता हूं मैं, तेरे आंसुओं को पीता हूं मैं, जब तू रोती है ना पगली, रातों को ना सोता हूं ना जागता हूं मैं, तेरे लबों की... Hindi · कविता 3 511 Share Umender kumar 5 Aug 2021 · 1 min read मेरी खुशनसीबी चाहत नहीं अब किसी से सिर्फ अपनी तन्हाइयों के साथ रहता हूं छोड़ चुका हूं अब सब, अब सिर्फ एक कोने में ही रहता हूं मनुष्य आता है तो खुशियां... Hindi · कविता 1 461 Share Umender kumar 5 Aug 2021 · 1 min read वक्त वक़्त एक सा नहीं रहता । बदलते वक़्त से कुछ तो मिला और कुछ खोया भी। घड़ी में वक़्त आज भी वही है जो उस वक़्त था। मगर आज वो... Hindi · मुक्तक 1 455 Share Umender kumar 5 Aug 2021 · 1 min read धन के संबंध धन, मुद्रा, संपदा .. सब संबंधों का आधार है, बगैर इसके सब संबंध निराधार है... ^^ ज्यादा धन ज्यादा संबंध, कम धन अकेला जीवन....^^ उमेंद्र कुमार Hindi · मुक्तक 2 496 Share Umender kumar 5 Aug 2021 · 1 min read जाति और राजनीति !! जाति पर राजनीति और खत्म होती इंसानियत !! आज जाति पर राजनीति होती है और इंसानियत खत्म होती है, आज के दौर में निम्न जाति के उच्चतम अधिकारी से... Hindi · लेख 3 292 Share Umender kumar 5 Aug 2021 · 1 min read मिलने को तरसते हैं दूर हो , तो बात हो भी जाती है, जब पास होते हो, तो दूरी सी लगती है, दिल मे तो, रहते हो तुम, मगर नयन तरसते है ,बाट सजोते,... Hindi · कविता 1 348 Share Umender kumar 4 Aug 2021 · 1 min read तेरी बेवफाई तेरी बेवफाई मेरी यादों को भुलाने नहीं देती , मगर ,तेरी यादें मेरे दर्द को जरूर भुला देती है। तेरे दर्द का एहसास आज भी दिल के किसी कोने में... Hindi · कविता 2 561 Share Umender kumar 4 Aug 2021 · 1 min read काम पड़ सकता है काम पड़ सकता है" वजह से रिश्तेदारों का रिश्ता काम पड़ सकता है" वजह से ऐसी दोस्ती का रिश्ता "काम पड़ सकता है" वजह से घर वालों का रिश्ता यह... Hindi · लेख 1 448 Share Umender kumar 4 Aug 2021 · 1 min read मेरा मोल नहीं मुझे, खरीदना बेचना चाहते हो, पर मेरा कोई मोल नहीं, जा.... जा... ले जा मेरी मिट्टी को श्मशानों में, और ले जा अपना मुंह मांगा मोल, इसके अलावा तो कहीं... Hindi · कविता 1 357 Share Umender kumar 4 Aug 2021 · 1 min read मेरा अकेलापन जज्बातों से तो पुराना रिश्ता है हमारा, खामोशी से..... चुपके से ........ ना जाने कितनों के ... अकेलेपन में हम अपनेपन का एहसास देते हैं मगर हकीकत में खुद अकेले... Hindi · लेख 2 365 Share Umender kumar 4 Aug 2021 · 1 min read गजल मैंने अपनी ग़ज़ल को .. "दो शब्द " क्या दिए ... ....सब अपनी अपनी ग़ज़ल में खो गए उमेंद्र कुमार Hindi · शेर 1 447 Share Umender kumar 4 Aug 2021 · 1 min read मुस्कुराहट मेरी मुस्कुराहट सभी के लिए है, मगर मेरी उदासी सिर्फ मेरे लिए... . मुस्कुराना ही जिंदगी है, वरना यह किसी मौत से कम नहीं.. उमेंद्र कुमार Hindi · कविता 1 252 Share Umender kumar 4 Aug 2021 · 1 min read दिल से सलाम अब तो हमारी सांसे भी हमारे खिलाफ साजिश रचती हैं और तुम मेरी सांसो में दम डालने की बात करते होl, शुक्रगुजार हूं मैं तुम्हारा बदलती फिजा में भी तुम... Hindi · कविता 2 2 616 Share Umender kumar 4 Aug 2021 · 1 min read बांझ औरत जब दूसरे चमन पर आती है, बहार तो मुझे भी लगता है, कभी तो आएगी मेरे चमन पर भी फूलों की बहार .. पौधे से तो बन गई मैं कली... Hindi · कविता 3 2 790 Share Umender kumar 4 Aug 2021 · 1 min read मजदूर की व्यथा यह शरीर है साहब बीमारी भी इसी में है और भूख भी ...... इसी में ...... इल्जाम मत दो मुझे बाहर निकलने के लिए, डरता हूं मैं, बीमारी से पहले... Hindi · लेख 3 2 628 Share Umender kumar 3 Aug 2021 · 1 min read दीवानी का जवाब एक आशिक:- तेरे बदन की लिखावट में हैं उतार चढाव में तुझको कैसे पढूंगा, मुझे किताब तो दे (माननीय स्वर्गीय श्री राहत इंदौरी जी की लाइन) जवाब में लड़की:- ना... Hindi · कविता 712 Share Umender kumar 3 Aug 2021 · 1 min read प्रेम का दीपक राम तुम दीपक बन जाओ रहीम तुम रोशनी बन जाओ प्रेम का एक दिया मैं जलाऊं प्रेम का एक दिया तुम जलाओ एक नजरिया हो सब का जैसे , हर... Hindi · कविता 2 397 Share Umender kumar 3 Aug 2021 · 1 min read बस अब विदाई कर दो.. रफ्ता रफ्ता बीत गया मैं भी, बस अब मेरी विदाई कर दो.. पुराने वर्ष की विदाई के साथ, आज मेरी भी विदाई कर दो ..... चाहते तो बहुत थी मगर,... Hindi · कविता 1 626 Share Umender kumar 3 Aug 2021 · 1 min read दुखी जीवन मुद्दतों बाद महफिलों से रू-ब-रू तो हुए, मगर तेरी कमी सी (खुशी) थी, अगर तू थोड़ी भी होती, अगर तू साथ होती... इस अंजुमन को दीवाने खास बना देते..... उमेंद्र... Hindi · कविता 1 564 Share Umender kumar 1 Aug 2021 · 1 min read मेरी यादें तू गम ना कर तेरी यादों में सदा रहूंगा याद बनकर तेरी बातों में सदा रहूंगा बात बनकर, तू भूल ना जाए रात में भी इसलिए रात में भी साथ... Hindi · कविता 1 441 Share Umender kumar 1 Aug 2021 · 1 min read वक्त का फैसला हमें गुस्ताख तकब्बुर के साथ जीने दो आजकल नेकियों को कौन याद रखता है वैसे तो हमारी नेकियां हमारी गुस्ताखियां से ज्यादा होंगी हम चुप हैं कि कहीं तो हिसाब... Hindi · लेख 1 465 Share Umender kumar 1 Aug 2021 · 1 min read तुम्हारा नशा नशा तुम्हारे साथ भी बरकरार था और तुम्हारे जाने के बाद भी बरकरार है फर्क सिर्फ इतना है जब साथ दें नशा दिलो-दिमाग पर था जब छोड़ गए नशा जुबान... Hindi · शेर 1 487 Share Umender kumar 1 Aug 2021 · 1 min read तुम्हारी याद आम की डाली जो सूखी है अब यहां पिक या सीखी नहीं आते यह घाट सुने हैं जहां हंसी बहुत कुछ कहा करती थी सब को हंसाती थी और हंसती... Hindi · कविता 484 Share Umender kumar 1 Aug 2021 · 1 min read आंसुओं की उधारी इन आंसुओं को संभाले रखा है अपने जनाजे के लिए, के चार आंसू भी उधार न मांगने पड़े मतलबी दुनिया से, अगर लिए तो फिर वापस आना पड़ेगा, जिंदगी भर... Hindi · शेर 2 299 Share Umender kumar 1 Aug 2021 · 1 min read तिरस्कार का दर्द कंकड़ो का दर्द तुम क्या जानो साहब सड़क किनारे तो पड़े हैं बगैर कोलतार के कभी यही पहुंचा दिया था करते थे मंजिल पर तुम्हारी राह बनके साहब .... यह... Hindi · लघु कथा 1 322 Share Umender kumar 1 Aug 2021 · 1 min read चाहत यादें तो है, मगर छुपा लेते हैं, सपनों में तो हो , पर देखने के लिए सोते नहीं है, उनकी यादें बोलती तो है , मगर होठों को सी लेते... Hindi · लेख 1 269 Share Umender kumar 1 Aug 2021 · 1 min read ऐ कोरोना तूने यह क्या कर दिया.. ऐ कोरोना तूने यह क्या कर दिया.... जिस जिस गली निकला मैं उस गली को लोगों ने खाली कर दिया.. हम तो यह जाने के ... हमारी मोहब्बत में बाजार... Hindi · कविता 3 2 320 Share Umender kumar 1 Aug 2021 · 1 min read ज़िद साहिलों को छोड़ , कश्ती समुंदर की और मोड़ ली क्योंकि प्यास बुझती नहीं अब इनसे, अब, नमकीन की आदत सी हो गई है अक्सर , तूफानों को साहिलों से... Hindi · कविता 1 356 Share Umender kumar 1 Aug 2021 · 1 min read ठोकर खाई है, पर गिरा नहीं हूं...... ठोकर खाई है, पर गिरा नहीं हूं...... लड़खड़ाया जरूर हूं मगर गिरा नहीं हूं, यह सोचा ना था , के तू हाथ भी ना बढ़ाएगा... इससे तूने, दोस्ती पर भी... Hindi · लेख 1 2 436 Share Umender kumar 1 Aug 2021 · 1 min read भागती जिंदगी व्यस्त था जिंदगी में के सपने अधूरे ना रह जाए, सपने तो पूरे हुए, मगर रिश्ते भी कहीं छूट गए याद दिलाया किसी ने आज अपने होने का एहसास तो... Hindi · कविता 1 2 518 Share Umender kumar 31 Jul 2021 · 1 min read मेरी खामोशी मत रो मेरे दिल छोड़ दे सब वक्त के हाथों में दर्द तो अपना है अपना लेंगे खुशियां छोड़ दे दूसरो के हाथों में मत पूछ मेरा दिल ए बया... Hindi · कविता 3 227 Share Umender kumar 31 Jul 2021 · 1 min read दोस्ती का कत्ल इजहार ए इश्क कर तूने, आज दोस्ती का कत्ल कर दिया बेजुबा हो गया हूं मैं सुनकर.. पर , मेरी खामोशी का सैलाब , तेरे कानों में गूंजेगा जरूर पर... Hindi · कविता 421 Share Umender kumar 31 Jul 2021 · 1 min read मजदूर मजदूर पूछ रहा है, क्या मैं वही हूं... जो कभी छोटी इमारतों के बड़े होने तक साथ रहा, क्या मैं वही हूं... जो कभी अपने मालिकों के कारोबारी सर दर्द... Hindi · लेख 2 302 Share Umender kumar 31 Jul 2021 · 1 min read दर्द दर्द को दर्द ही रहने दो, मरहम लगाने की कोशिश ना करो , शुक्रिया अदा तो उनका है जो घावों को कुरेद देते हैं, जिससे दर्द तो महसूस होता है!... Hindi · लेख 2 2 251 Share Umender kumar 30 Jul 2021 · 1 min read दूरी ऐसे ना मुझे छोड़ना के मैं , सदमे में होश खो बैठू , थोड़ी आज दूरी बना थोड़ी कल, ऐसे ही धीरे-धीरे छोड़ देना , जिससे तुम्हें भी दर्द ना... Hindi · कविता 1 330 Share Previous Page 2 Next