डॉ.सीमा अग्रवाल Language: Hindi 492 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Previous Page 9 Next डॉ.सीमा अग्रवाल 4 Jul 2021 · 1 min read उसका मेरा साथ सुहाना.... उसका मेरा साथ सुहाना... उसका मेरा साथ सुहाना बरसों से है । दिल से दिल का मेल सुहाना बरसों से है । नदिया-सागर जिस छोर मिले औ एक हुए, नयन... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 1 453 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 4 Jul 2021 · 1 min read फिर वैसा मधुमास न आया.... फिर वैसा मधुमास न आया..... कितने बसंत आए जीवन में, पर वैसा उल्लास न आया। साथ तुम्हारे जैसा जिया था, फिर वैसा मधुमास न आया। आज पुरानी अलमारी से, निकला... Hindi · गीत 1 2 296 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 4 Jul 2021 · 1 min read एक मुक्तक मात्राभार- 1222 1222 1222 1222 कभी गलती करूँ मैं तो, मुझे उसकी सजा देना चलूँ दुर्गम पहाड़ों पर, प्रभो रस्ता दिखा देना निवेदन आप से बस ये, दिखा दर्पण सचाई... Hindi · मुक्तक 2 2 300 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 4 Jul 2021 · 1 min read की जब मैंने दुख से प्रीत... की जब मैंने दुख से प्रीत... कल क्या होगा - इस चिंता में, रात गई आँखों में बीत ! ओठों पर आने से पहले, सुख का प्याला गया रीत !... Hindi · कविता 2 1 356 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 4 Jul 2021 · 1 min read एक दोहा... मुँह से निकली बात के, लग जाते हैं पैर। बात बतंगड़ जब बने, बढ़ जाते हैं बैर।। -सीमा अग्रवाल मुरादाबाद Hindi · दोहा 2 279 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 4 Jul 2021 · 1 min read कहमुकरी कहमुकरी- अंतरंग गपशप दो सखियों की - आगे- पीछे मेरे डोले कान में कोई मंतर बोले समझ न आए एक भी अच्छर का सखि साजन ! ना सखि मच्छर -... Hindi · कविता 2 247 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 4 Jul 2021 · 1 min read कोई तुझ सा नहीं.... कोई तुझसा नहीं --- तू इस-सा,उस-सा,किसी-सा नहीं तू बस तुझ-सा,कोई तुझ-सा नहीं बड़ी अनोखी संरचना प्रकृति की कोई दिखता यहाँ, किसी-सा नहीं गढ़ा है विलक्षण कुदरत ने सबको वो तुझ-सा... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 1 2 454 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 3 Jul 2021 · 1 min read बहना चली वीरा के गाँव... बहना चली वीरा के गाँव... होंठों पर मुस्कान ले सोंधी मृदु स्मृतियों के हार सँजोए नेह-धार अजस्र भर नैनों में रोते से हँस दे, हँसते रोए सुन आहट सपने में... Hindi · गीत 2 495 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 3 Jul 2021 · 1 min read श्रीकृष्ण जन्म.... श्रीकृष्ण जन्म... मैया की पीन पुकार सुनते थे बारंबार करने पाप संहार आए स्वयं इस बार। छुपी प्रलय वृष्टि में हलचल थी सृष्टि में दृश्य अद्भुत दृष्टि में हुए जो... Hindi · घनाक्षरी 1 282 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 3 Jul 2021 · 1 min read मैं एक क्षणिक झोंका हवा का... मैं एक क्षणिक झोंका हवा का .... रोकोगे जो तुम प्यार से, कुछ पल को ठहर जाऊँगी, वरना आम मुसाफिर की तरह,मैं भी गुजर जाऊँगी। मैं एक क्षणिक झोंका हवा... Hindi · कविता 2 4 392 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 3 Jul 2021 · 1 min read काँ से काँ तक.... वक्त ले आया काँ से काँ तक डराती है अब अपनी छाँ तक कैसे यकीं आए नातों पर, बदल गए सब सर से पाँ तक घुमाऊँ नजर जो याँ से... Hindi · कविता 3 209 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 2 Jul 2021 · 1 min read चाँद मेरा नहीं... चाँद मेरा नहीं, न कभी होना है संग तारिकाओं के उसे रहना है। मोल बिकता नहीं बाजार में वो है अनमोल, न कोई खिलोना है। शीत करों से अपने छू... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 2 4 377 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 2 Jul 2021 · 1 min read बीत चले अब दिन वे सुहाने..... बीत चले अब दिन वे सुहाने रही कहाँ वह बसंत बहार ! सुख के सारे स्रोत सूख गए सह ले मन पतझर की मार ! कोयल कूका करती कभी थी... Hindi · कविता 1 525 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 2 Jul 2021 · 1 min read क्यों न खिलखिलाएँ आप.... क्यों न खिलखिलाएँ आप, आपकी किस्मत बुलंद है । अपने यहाँ तो आजकल, खुशियों का आना बंद है । आपके हर भाव से, टपकता है रस श्रंगार का । अपने... Hindi · कविता 3 2 351 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 2 Jul 2021 · 1 min read आज तुम्हें फिर देखा हमने.... आज तुम्हें फिर देखा हमने.... आज तुम्हें फिर देखा हमने तड़के अपने ख्वाब में छुप कर बैठे हो तुम जैसे मन के कोमल भाव में किस घड़ी ये जुड़ गया... Hindi · गीत 3 386 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 2 Jul 2021 · 1 min read रे मन इधर-उधर क्यों भटके... रे मन, इधर-उधर क्यों भटके रे मन, इधर-उधर क्यों भटके खाए कदम-कदम पर झटके छोड़ दे ये धन्धे खाली के भजन कर ले प्रभु का डटके कोई न देता साथ... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 3 3 258 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 1 Jul 2021 · 1 min read क्या क्षणिक इन आँधियों से.... रहे न अगर आस तो.... क्या क्षणिक इन आँधियों से,जिंदगी डर जाएगी रहे न अगर आस तो हाँ, प्यास ही मर जाएगी तू बस अपना काम कर फल चला खुद... Hindi · गीत 2 2 529 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 1 Jul 2021 · 1 min read जी करता है जी भर रो लूँ... जी करता है, जी भर रो लूँ अश्कों से अपना हर गम धो लूँ आज मैं तनहा खाली-खाली कैसे रात कटे ये काली शायद मन कुछ राहत पाए बिखरी यादों... Hindi · गीत 2 2 312 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 30 Jun 2021 · 1 min read निर्मम !क्यूँ ऐसे ठुकराया... निर्मम ! क्यूँ ऐसे ठुकराया... निर्मम ! क्यूँ ऐसे ठुकराया जरा भी मुझपे तरस न आया खड़ी रही मैं द्वार तुम्हारे निर्मल स्नेह- डोर सहारे थक गयी आस, दरस न... Hindi · कविता 2 347 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 27 Jun 2021 · 1 min read वक्त बड़ा चंचल... पीठ किए बैठी हैं खुशियाँ, गुमसुम सुख के पल बाहर पसरा सन्नाटा है, पर भीतर हलचल स्वार्थ-ग्रसित हो पुत्र मनु के निज विवेक खोते अपने ही हाथों से अपना अपयश... Hindi · गीत 2 2 295 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 25 Jun 2021 · 1 min read खींच मत अपनी ओर..... खींच मत अपनी ओर अतीत। साथ हमारा गया अब बीत। माना तू सुहाना बहुत है। पर अब मुझसे दूर बहुत है। आकर्षण में बँध मैं आती, दिखता तुझमें नूर बहुत... Hindi · कविता 4 2 554 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 23 Jun 2021 · 1 min read मनहरण घनाक्षरी... पड़ी वक्त की लताड़, जिंदगी हुई उजाड़, आस-प्यास सब मिटी, चाह दुखदायी है। हाय ये कैसी बेबसी, माँ- बहन चल बसी, रिश्तों को यूँ खोते जाना, घोर कष्टदायी है। दोस्त... Hindi · घनाक्षरी 2 590 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 19 Jun 2021 · 1 min read रात बदरिया घिर-घिर आए.... रात बदरिया घिर - घिर आए। पास न कोई दिल घबराए। बागी हुआ निगोड़ा मौसम, आ धमकाए लाज न आए। उफ ! कैसी मनहूस घड़ी है, बात - बात पर... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 4 4 337 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 18 Jun 2021 · 1 min read आओ पुनर्निर्माण करें... चहुँ ओर बरबादी का मंजर दिखाई देता है ! नहीं सुरक्षित अब कोई घर दिखाई देता है !! अपना या पराया हम कहें किसे और कैसे ! हर एक हाथ... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 3 4 334 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 18 Jun 2021 · 1 min read सौदागर सपनों का... ... सौदागर सपनों का... रात नींद में आया मेरीे एक सौदागर सपनों का कितने ख्वाब दिखा गया मुझको वो सौदागर सपनों का मैंने पूछा- मोल है क्या ? वह बोला-... Hindi · गीत 3 6 438 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 17 Jun 2021 · 1 min read स्मृति-बिम्ब उभरे नयन में.... स्मृति-बिम्ब उभरे नयन में .... दुआ-बद्दुआ जिस-जिस से मिली फलती रही किस्मत भी टेढ़ी-मेढ़ी चाल अपनी चलती रही झुलसता रहा जीवन संघर्ष-अनल-आवर्त में प्रीत-वर्तिका भी मद्धम बीच रिदय जलती रही... Hindi · कविता 3 4 229 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 17 Jun 2021 · 1 min read सहमी सी है आज कलम.... सहमी-सी है आज कलम शब्द उदास हैं खोए-खोए अथाह गमों का सागर है आखिर कोई कितना रोए ! मानव ही जब मानव की पीड़ा समझ न पाता है शब्द अगर... Hindi · कविता 4 4 398 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 16 Jun 2021 · 1 min read पल वो अद्भुत खास होता... ...जब तुम मेरे पास होते.... जब तुम मेरे पास होते पल वो अद्भुत खास होता बँध नेह-बंधन में तुम्हारे मुक्ति का आभास होता चखके सब रस देखे जग के स्वाद... Hindi · गीत 3 6 277 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 15 Jun 2021 · 1 min read गुनो सार जीवन का... गुनो सार जीवन का... इधर-उधर मत डोलो मन की आँखें खोलो तोड़ो न दिल किसी का असत्य कभी न बोलो रखकर कर्म-तुला पर सुख-दुख दोनों तोलो प्रायश्चित के जल से... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 4 514 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 15 Jun 2021 · 1 min read ऐसा गया बिलट के... ऐसा गया बिलट के... ऐसा गया बिलट के। देखा नहीं पलट के। किस्मत कैसी लंपट, खेली खेल कपट के। नन्हीं खुशियाँ मेरी, ले ही गयी झपट के। पाकर उसकी आहट,... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 4 2 240 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 14 Jun 2021 · 1 min read उतरी जमीं पर चाँदनी.... उतरी जमीं पर चाँदनी - नयनों में नेह भरे, उतरी जमीं पर चाँदनी पलकों पे ख्वाब धरे, पसरी है उन्मादिनी ! तिमिर के आगोश में, मुँह छुपाए थी निशा पायी... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 2 2 512 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 14 Jun 2021 · 1 min read सँभल जा मानव... स्वार्थ-ग्रसित हो सीने में प्रकृति के, नित खंजर तूने भोंके हैं । पग- पग चेतावनी देकर उसने, पग बढ़ने से तेरे रोके हैं । नामुमकिन है कुदरत को तेरा, वश... Hindi · मुक्तक 5 4 504 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 13 Jun 2021 · 1 min read दीदार चाँद का... दीदार चाँद का... रात जब ढलने लगी, दीदार हुआ चाँद का साँस जब थमने लगी, दीदार हुआ चाँद का यूँ तो गम पहले से ही, कम न थे जिंदगी में... Hindi · कविता 5 4 422 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 12 Jun 2021 · 1 min read हम बढ़ें शिखर की ओर.... मशाल ज्ञान की लिए हाथ में हम चलें प्रगति की ओर ! अथक गति चरणों में भरकर हम बढ़ें शिखर की ओर ! दें कुरूप को रूप सलोना उजला हो... Hindi · कविता 3 2 260 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 11 Jun 2021 · 1 min read किस्मत की निठुराई.... किस्मत की निठुराई... पलभर पाया साथ खुशी का, अब लम्बी तन्हाई। हँसता मुखड़ा नहीं सुहाया, किस्मत की निठुराई। बाहर शांत मगर मन - भीतर, चलती थी फेंटेसी। छाया बढ़कर मुझ... Hindi · कविता 3 2 636 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 9 Jun 2021 · 1 min read सोच रही गौरैया.... सोच रही गौरैया..... सींखचे पर खिड़की के आज आ बैठी एक गौरैया देख रही थी टुकुर-टुकुर खामोश थे भाभी-भैया चिंतामगन बैठे थे दोनों बीच में थी एक गज की दूरी... Hindi · कविता 3 259 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 9 Jun 2021 · 1 min read कितना सच अनजाना तुमसे.... कितना सच अनजाना तुमसे, कितना कुछ अनकहा। क्या करना कुछ कहकर अब, रहने दो जो नहीं कहा। कौन सुखी है इस दुनिया में, जो दर्द मैं अपना रोऊँ। बना लूँ... Hindi · कविता 3 328 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 8 Jun 2021 · 1 min read कृपाण घनाक्षरी... कृपाण घनाक्षरी (सुन ले श्याम पुकार)... करूँ श्याम मनुहार, सुन ले पीन पुकार, चली आई तेरे द्वार, कर दे रे बेड़ा पार। तू ही जीवन आधार, तुझसे ही ये संसार... Hindi · कविता 1 275 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 8 Jun 2021 · 1 min read कहमुकरियाँ कहमुकरियाँ... आगबबूला सदा वह रहता पारा दिन भर चढ़ा ही रहता गरम मिजाज हठीला ठेठ क्या सखि साजन ! ना सखि जेठ सही-गलत क्या, वही सिखाए मंजिल तक मुझको पहुँचाए... Hindi · कविता 1 193 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 8 Jun 2021 · 1 min read घनाक्षरी ( श्रंगार गीत ) घनाक्षरी ( श्रंगार गीत )... जीवन हुआ है भारी,खो रहीं खुशियाँ सारी, विरह-विदग्धा नारी, प्रिय को पुकारती। कहाँ गए तुम नाथ, क्यों छोड़ गए यूँ साथ, झुकाऊँ कहाँ ये माथ,... Hindi · कविता 2 2 484 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 4 Jun 2021 · 1 min read सोलह श्रंगार.... ...सोलह श्रंगार... सुघड़ सलोनी रूपसी नार किए बैठी सोलह श्रंगार लाल है चोली लाल घघरा नयन विशाल फब रहा कजरा माथे बेंदी माँग सिंदूर गुँथा हुआ वेणी में गजरा प्रिय-छवि... Hindi · गीत 2 2 271 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 4 Jun 2021 · 1 min read कितना तुझे पुकारा चाँद.... कितना तुझे पुकारा चाँद... तन्हा रात नयन उन्मीलित कितना तुझे पुकारा चाँद गढ़ के अनगिन छवियाँ मन में तेरा रूप निहारा चाँद दूर क्यों इतनी रहते मुझसे कह न सकूँ... Hindi · गीत 2 2 446 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 3 Jun 2021 · 1 min read सावन बरसता है उधर.... सावन बरसता है..... सावन बरसता है उधर, इधर दो नैन बरसते हैं। चाह में तुम्हारी आज भी हम, दिन-रैन तरसते हैं। प्यास-तपन सब मिटी, धरा हर्ष-मगन इठलाए। आक-जवास के जैसे,... Hindi · कविता/गीतिका 2 2 448 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 2 Jun 2021 · 1 min read करुणा की बरसात...(दोहे) करुणा की बरसात... सावन आया देखकर, हर्षित दादुर मोर। बदली में चंदा छुपा, ढूँढे कहाँ चकोर।।१।। अबके सावन करो प्रभु, करुणा की बरसात। शाख ना टूटे कोई, घर-घर हुलसें पात।।२।।... “बरसात” – काव्य प्रतियोगिता · कविता 5 8 618 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 1 Jun 2021 · 1 min read आई पावस ऋतु मनभावन... आई पावस ऋतु मनभावन घनन-घनन-घन बरसे सावन हुलस रहा सृष्टि का कन-कन अद्भुत ये कुदरत का आँगन सूखतीं नदियाँ, ताल, सरोवर सूखी हरियाली, सूखे उपवन इतना बरसो आज तुम बदरा... “बरसात” – काव्य प्रतियोगिता · ग़ज़ल/गीतिका 2 6 385 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 31 May 2021 · 1 min read सावन बरसे... अँखियाँ बरसें सावन बरसे फिर भी मनवा प्यासा तरसे गुजर न होती इक पल जिस बिन उसको देखे बीते अरसे याद सताए रहा न जाए बिंध गया मन मनसिज शर... “बरसात” – काव्य प्रतियोगिता · कविता 2 2 372 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 31 May 2021 · 1 min read कैसी झमाझम सारी रात हुई.... कैसी झमाझम सारी रात हुई... बिन मौसम ही बरसात हुई अँखियों से सारी रात हुई मन-किसान झूला फाँसी पर सुख की खेती बरबाद हुई ! पसरा हर सूं गहन अँधेरा... “बरसात” – काव्य प्रतियोगिता · कविता 4 8 557 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 31 May 2021 · 1 min read जब आया बरसात का मौसम.... जब आया बरसात का मौसम... जब आया बरसात का मौसम घिर आया जज्ब़ात का मौसम उँगली अधर पर धरता आया मन से मन की बात का मौसम खड़ा द्वार ज्यों... “बरसात” – काव्य प्रतियोगिता · कविता 2 2 559 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 16 Feb 2021 · 1 min read ये कैसा मधुमास आया... ये कैसा मधुमास आया... बुझे-बुझे से दिन मन उचाट उन्मन न कोई उमंग न तरंग ये कैसा मधुमास आया ! सूझे न कोई काज लुटे सकल सुख-साज स्वप्न हुए सब... Hindi · कविता 3 296 Share डॉ.सीमा अग्रवाल 16 Feb 2021 · 1 min read ज्ञान की देवी माँ शारदे के श्री चरणों में.... अज्ञता हरो माँ शारदे... वागेश्वरी ज्ञानेश्वरी रागेश्वरी माँ शारदे बुद्धि विमल मन शुद्ध करो संशय हरो माँ शारदे स्वरात्मिका भावात्मिका शब्दात्मिका माँ शारदे जग-मन अमित उल्लास भरो कृपा करो माँ... Hindi · कविता 2 245 Share Previous Page 9 Next