sushil sharma Tag: मुक्तक 1 post Sort by: Latest Likes Views List Grid sushil sharma 24 Jan 2024 · 1 min read सायली छंद सायली छंद चाँद 1 मेरे चाँद के टुकड़े टुकड़े कर मुस्कुराता है बेदर्दी। 2 चाँद कल निकला छत जगमग हुआ अमावस भी हैरान। 3 चाँद तुम्हारा चेहरा दोनों एक से... Poetry Writing Challenge-2 · मुक्तक 78 Share