Rakesh Pathak Tag: मुक्तक 2 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Rakesh Pathak 24 May 2021 · 1 min read मजदूरों की पीड़ा घर बनाने गए दो हाथ घर बनाने के लिए हाथ जोड़ते रह गए आखिर जवाब मिल ही गया काम नहीं है तब से बनी हुई इमारत और पलंग तोड़ते रह... Hindi · मुक्तक 1 306 Share Rakesh Pathak 20 May 2021 · 1 min read बरसात के दोहे मेघ सुधा जल बरसते, 1धरती शीतल होय मेढक गाते गीत औ, व्याकुलता दे खोय 2 जल स्रोतों को कर रहे, बादल जल का दान सुखी हुए सब मीन सा, क्रषक... “बरसात” – काव्य प्रतियोगिता · मुक्तक 1 3 577 Share