Tag: मुक्तक
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किरदार
रामबाबू ज्योति
सलीका और संगत
रामबाबू ज्योति
अपना पराया
रामबाबू ज्योति
एक उम्र गुस्ताखी के लिए भी
रामबाबू ज्योति
एहसान भी गुनाह है
रामबाबू ज्योति
खामोशियां बोलने लगी तो
रामबाबू ज्योति
उम्मीदों पर ही जिंदा है
रामबाबू ज्योति
ऐसे जिओ
रामबाबू ज्योति
भरोसा
रामबाबू ज्योति
शुभ चिंतक लोग
रामबाबू ज्योति
दस्तूर दुनिया का
रामबाबू ज्योति
एक बनाया गया रिश्ता "पति पत्नी"
रामबाबू ज्योति
समंदर में पानी अपार है
रामबाबू ज्योति
याद रह जाती है
रामबाबू ज्योति
जिंदगी
रामबाबू ज्योति
रिश्ते
रामबाबू ज्योति
कसमकस जिंदगी की
रामबाबू ज्योति
आस्तीन में भी साँप होते हैं
रामबाबू ज्योति
दिलों की कदर
रामबाबू ज्योति
उम्मीद जिंदा रखो
रामबाबू ज्योति
इल्जाम
रामबाबू ज्योति
खुशी के लम्हे
रामबाबू ज्योति