रमाकान्त पटेल Tag: कविता 16 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid रमाकान्त पटेल 10 Aug 2021 · 1 min read जीवन एक अंधकार है ... जीवन एक अंधकार है यदि जीवन में अंधकार ना हो तो ये जीवन बेकार है होती है कितनी प्यारी ये रातों की चांदनी बनती नभ के तारों से यह रातें... Hindi · कविता 1 521 Share रमाकान्त पटेल 13 Apr 2021 · 1 min read जिंदगी एक झमेला है ... जिंदगी एक झमेला है खुशी और ग़म का मेला है कौन अपना और पराया है ये सब स्वार्थ का खेला है रिश्ते-नाते प्यार, मोहब्बत चले जब तक पास धेला है... Hindi · कविता 4 6 729 Share रमाकान्त पटेल 8 Feb 2021 · 1 min read दिल से दिल की बात करें... तेरी झुकी हुई पलकें कुछ वयां कर रहीं हैं प्यार है शायद मुझसे इसलिए शरमा रहीं हैं दो लफ्ज़ जो कहे तुमने उनको ही संजोए बैठा हूँ उस प्यारी सी... "कुछ खत मोहब्बत के" - काव्य प्रतियोगिता · कविता 12 82 960 Share रमाकान्त पटेल 27 Jan 2021 · 1 min read क्या आज मैं कविता लिख पाऊंगा ? क्या आज मैं कविता लिख पाऊंगा ? मैं सोच नहीं पा रहा हूँ क्या लिखूं ? मन में कोई विचार नहीं आ रहे हैं कलम की स्याही खत्म होने को... Hindi · कविता 1 705 Share रमाकान्त पटेल 3 Sep 2020 · 1 min read आँसुओं को गिरने दो.... आँख से आँसुओं को गिरने दो कभी तो आँसू मोती होगा उजालों में अंधेरा रहने दो कभी तो अंधेरा काजल होगा पतझड़ में सावन को आने दो कभी तो जीवन... Hindi · कविता 1 7 420 Share रमाकान्त पटेल 27 Aug 2020 · 1 min read नन्हें-मुन्ने प्यारे बच्चे... नन्हें-मुन्ने प्यारे बच्चे भोले-भाले मन के सच्चे रोज हंसते और खेलते हैं मीठी भाषा ही बोलते हैं करते रहते हैं सैर सपाटा घर के आँगन को महकाते इनको देख फूल... Hindi · कविता 3 2 419 Share रमाकान्त पटेल 20 Aug 2020 · 1 min read सिर्फ एक धड़कन... कोई नहीं है इस दुनियाँ में सिर्फ अकेलेपन के चूर हो गए वो सपने मेरे बुने जो जीवनभर के न जाने क्या है जीवन में गुजर रहा डर डर के... Hindi · कविता 4 2 464 Share रमाकान्त पटेल 17 Aug 2020 · 1 min read जिंदगी गुजर रही अब मयखाने में.. जिंदगी गुजर रही अब मयखाने में न कोई दोस्त है न कोई यार है बस अकेला रह गया हूँ जमाने में जिंदगी गुजर रही अब मयखाने में किसी को भी... Hindi · कविता 4 7 489 Share रमाकान्त पटेल 15 Aug 2020 · 1 min read वीर शहीद लेता हूँ जब शहीदों का नाम आँख में आँसू भर आते हैं सुनता हूँ जब वीरों की गाथा तो मेरे भी बाजू फड़क जाते हैं अपनी धरती माँ की रक्षा... Hindi · कविता 3 2 322 Share रमाकान्त पटेल 12 Aug 2020 · 1 min read तुम्हारा श्याम हूँ... देखा था तुमको प्रिय मैंने अपने हिय के आंगन में मिल जाओ तुम मुझको भर दूँगा खुशी तुम्हारे दामन में आ जाओ तुम राधा बनकर मैं भी तो तुम्हारा श्याम... Hindi · कविता 2 2 340 Share रमाकान्त पटेल 6 Aug 2020 · 1 min read दर्द का कर्ज़ अफसोस नहीं है अपने दर्द का जो तूने दिए तो और जमा हुए बन गया मैं दर्द का सौदागर तेरे दर्द देने से और अमीर हुए कौन कहता है कि... Hindi · कविता 3 2 470 Share रमाकान्त पटेल 4 Aug 2020 · 1 min read जिंदगी गमज़दा हो रही है... जिंदगी गमज़दा हो रही है आज फिर आजमा रही है ले रही है हरदम इम्तिहान आज फिर से तड़पा रही है जिंदगी कितने मोड़ लेती है खुशी को ग़म से... Hindi · कविता 5 8 515 Share रमाकान्त पटेल 22 Jul 2020 · 1 min read ऑनलाइन आज की इस दुनियाँ में हो रहा सब ऑनलाइन इसको देखो,उसको देखो मिलते हैं सब ऑनलाइन नहीं किसी से मतलब इनको खाना-पीना सब ऑनलाइन पढ़ना-लिखना, हँसना-खेलना रोना भी है अब... Hindi · कविता 3 10 422 Share रमाकान्त पटेल 22 Jan 2019 · 1 min read कविता की उत्पत्ति दर्द की ज्वाला जब फूटती है तो कविता खुदबखुद निकलती है प्यार की डोर जब टूटती है तो कलम खुदबखुद चलती है मन जब अंदर से रोता है तो शब्दों... Hindi · कविता 2 2 720 Share रमाकान्त पटेल 20 Dec 2018 · 1 min read नया सवेरा हैं बेटियाँ................ हम सब की प्यारी हैं बेटियाँ सारे जग से न्यारी हैं बेटियाँ खेतों की एक क्यारी हैं बेटियाँ बाग की नई फुलवारी हैं बेटियाँ माँ-बाप की तो जान हैं बेटियाँ... Hindi · कविता 3 5 380 Share रमाकान्त पटेल 25 Nov 2018 · 1 min read माँ साथ होती तो... आज माँ साथ होती तो भूखा नहीं सोता मैं आज माँ साथ होती तो अकेले नहीं रोता मैं आज माँ साथ होती तो इतना न सोचता मैं आज माँ साथ... "माँ" - काव्य प्रतियोगिता · कविता 12 66 1k Share