Poonam Panchal 9 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Poonam Panchal 12 Nov 2018 · 1 min read जीवन के बहते सागर में जीवन के बहते सागर में , करुणा लहर बहती है । ये कल-कल की ध्वनि देखों , कुछ विस्मृत बातें कहती है ।। फुलों की फुलवारी में , एक भरम्र... Hindi · कविता 1 313 Share Poonam Panchal 12 Nov 2018 · 1 min read हमसफ़र महबूब मिरे दिल इस क़दर दीवाना हुआ हमसफ़र महबूब मिरे दिल इस क़दर दीवाना हुआ बिन पिए शब-ए-शबाब क़ि ख़ाली मयख़ाना हुआ इश्क़ के दरिया को जब होंटों से छुआ मैनें ऐसा मंज़र छा गया क़ि लौट... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 1 423 Share Poonam Panchal 12 Nov 2018 · 1 min read खोउ तो तेरे इश्क़ में खोने दे खोउ तो तेरे इश्क़ में खोने दे फ़ना हो जाऊ जो ज़रा होने दे बारिश की बूँदों में पानी होना है आसमाँ गर रोता है मुझे भी रोने दे सदियों... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 1 414 Share Poonam Panchal 12 Nov 2018 · 1 min read उन्हें मोहब्बत-ए इज़हार करने को जी चाहता है उन्हें मोहब्बत-ए इज़हार करने को जी चाहता है जो ज़िन्दगी है मेरी और मंज़िल का रास्ता है गुनाह जो कर दिया है कमबख्त दिल लगाने का अब तो सुकून-ए-दर्द और... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 1 2 239 Share Poonam Panchal 12 Nov 2018 · 1 min read ग़ज़ल ग़ज़ल ख़्वाब-ए-ख़्यालो में पली मोहब्बतें कैसी बेलिबास नाच रही रफ़ीक़ो ! वहशते कैसी न रज़ा-ए-चाँद हम पर है न मेहर-ए-रब कोई फिर क्यों सोच रहे हो कि ये क़यामतें कैसी... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 1 1 443 Share Poonam Panchal 12 Nov 2018 · 1 min read ना इक पल भी हमसे दूर जाया करो ना इक पल भी हमसे दूर जाया करो बस बुलाते ही पास आ जाया करो तुम्हारी हँसी देख दिन बन जाता है ऐसे ही खिलखिलाकर मुस्कुराया करो तुम्हारी इक झलक... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 1 390 Share Poonam Panchal 12 Nov 2018 · 1 min read हम भी हैं होश वाले तुम हो गर तो हुस्नदार हम भी हैं ग़ज़ल की शेखियो में जानदार हम भी हैं ना इरादा जान लेने का ना दिल जलाने का नज़र भर देख... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 1 500 Share Poonam Panchal 12 Nov 2018 · 1 min read सोच सोच बड़ी और गुफ़ा-सी गहरी है मेरी यूँ कहिये ज्यादा सोचने से सुनहरी है मेरी ऐब की कमी नहीं फिर भी बढ़ रहे हैं ये बेबाक ख़ामियाँ ही प्रहरी है... Hindi · कविता 1 231 Share Poonam Panchal 12 Nov 2018 · 2 min read अजन्मी बेटी शब्दों रूपी अँगारों में खौल रही हूँ माँ मैं तेरी अजन्मी बेटी बोल रही हूँ ।। माँ ऐसी क्या मजबूरी जो तू मुझको मार रही है मेरे अरमानों की माला... Hindi · कविता 1 292 Share