Trishika S Dhara Language: Urdu 16 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Trishika S Dhara 17 Nov 2023 · 1 min read मुझे हसरतों ने रुलाया मुझे हसरतों ने रुलाया मिरा कोई बन ही न पाया उसे बंधन में बाँध लूँगी मिरे शहर वो अगर आया किसी काँटे को दोष क्यों दूँ गुलों से ज़ख़्म मैंने... Urdu 227 Share Trishika S Dhara 13 Jun 2023 · 1 min read ख़ास से आम बनाना ज़रूरी था ख़ास से आम बनाना ज़रूरी था उस का ग़ुरूर मिटाना ज़रूरी था क़ुदरत का क़त्ल किए जा रहे थे ज़मीं पर ज़लज़ला आना ज़रूरी था नफ़रतों के चराग़ बुझाने की... Poetry Writing Challenge · Ghazal · Iamtrishikadhara · Trishikasdhara · Urduadab · Writtenbytrishikadhara 2 272 Share Trishika S Dhara 13 Jun 2023 · 1 min read तू रूबरू हो कर भी हमसे मिलता नहीं तू रूबरू हो कर भी हमसे मिलता नहीं बेरुखी के धागे से ज़ख़्म सिलता नहीं मिरी कैफ़ियत पे पत्थर भी रो पड़ा मगर ये संगदिल इंसाँ पिघलता नहीं जुगनुओं से... Poetry Writing Challenge · Ghazal · Iamtrishikadhara · Trishikasdhara · Urduadab · Writtenbytrishikadhara 1 247 Share Trishika S Dhara 13 Jun 2023 · 1 min read पत्थर से दिल लगाने चले हैं पत्थर से दिल लगाने चले हैं फिर नई चोट खाने चले हैं इंसान भी वो बन न सका लोग जिसे मसीहा बनाने चले हैं कभी लबों से चूमा था जिस... Poetry Writing Challenge · Ghazal · Iamtrishikadhara · Trishikasdhara · Urduadab · Writtenbytrishikadhara 2 228 Share Trishika S Dhara 13 Jun 2023 · 1 min read आँखों में मायूसी का मंज़र क्यों है आँखों में मायूसी का मंज़र क्यों है अँधेरा ही अँधेरा मिरे अंदर क्यों है जिस की छाँव में पलि मै बीस बरस ख़ुदा ने छीना वो शजर क्यों है ये... Poetry Writing Challenge · Ghazal · Iamtrishikadhara · Trishikasdhara · Urduadab · Writtenbytrishikadhara 1 143 Share Trishika S Dhara 13 Jun 2023 · 1 min read ये रात बावरी मुझे बेचैन कर जाएगी ये रात बावरी मुझे बेचैन कर जाएगी सवा तीन तक मुझे नींद कहाँ आएगी फ़ुरक़त में चलेगी तिरी याद की लूह दिसंबर की सर्दी भी मुझको जलाएगी आज अखरती है... Poetry Writing Challenge · Ghazal · Iamtrishikadhara · Trishikasdhara · Urduadab · Writtenbytrishikadhara 1 131 Share Trishika S Dhara 13 Jun 2023 · 1 min read मुद्दतों से तुम्हारा दीदार न मिला मुद्दतों से तुम्हारा दीदार न मिला क़ल्ब-ए-तपाँ को क़रार न मिला इक-इक कर बिक गयीं खुशियाँ सारी ग़मों का कोई ख़रीदार न मिला कब से आज़ुर्दा हूँ फ़रेब-ए-वफ़ा से तिरे... Poetry Writing Challenge · Ghazal · Iamtrishikadhara · Trishikasdhara · Urduadab · Writtenbytrishikadhara 1 176 Share Trishika S Dhara 13 Jun 2023 · 1 min read सदियाँ लगीं संभलने में सदियाँ लगीं संभलने में दिल का ज़ख़्म भरने में हाथ समुन्दर का ही है नदियों को खाली करने में मेरे पाँव नहीं थकते उनकी गलियों में चलने में सोलह बरस... Poetry Writing Challenge · Ghazal · Iamtrishikadhara · Trishikasdhara · Urduadab · Writtenbytrishikadhara 1 118 Share Trishika S Dhara 13 Jun 2023 · 1 min read तुम से उम्मीद–ए–हिमायत बहुत है तुम से उम्मीद–ए–हिमायत बहुत है लिहाजा मुझे तुम से शिकायत बहुत है कोई तूफ़ाँ न गिरा सका मिरा आशियाँ ख़ुदा की मुझ पर इनायत बहुत है जिन के क़ुर्ब में... Poetry Writing Challenge · Ghazal · Iamtrishikadhara · Trishikasdhara · Urduadab · Writtenbytrishikadhara 1 170 Share Trishika S Dhara 13 Jun 2023 · 1 min read पेशे से मज़हब का ठेकेदार लगता है पेशे से मज़हब का ठेकेदार लगता है वो आदमी मुझे दिमागी बीमार लगता है मैं मलूल रहूँ तो ये भी मुस्कुराता नहीं आईना मुझे सच्चा ग़म-गुसार लगता शब भर इसे... Poetry Writing Challenge · Ghazal · Iamtrishikadhara · Trishikasdhara · Urduadab · Writtenbytrishikadhara 138 Share Trishika S Dhara 13 Jun 2023 · 1 min read उकता कर हम ने ये काम कर दिया उकता कर हम ने ये काम कर दिया जो ख़ास थे उन को आम कर दिया हम को नहीं आता पर्दे में गुनाह करना जो भी किया हम ने सर-ए-आम... Poetry Writing Challenge · Ghazal · Iamtrishikadhara · Trishikasdhara · Urduadab · Writtenbytrishikadhara 162 Share Trishika S Dhara 13 Jun 2023 · 1 min read वो चाहतें हैं हमको कीचड़ में गिराना वो चाहतें हैं हमको कीचड़ में गिराना जिनके बस में नहीं अपने धब्बे छुड़ाना बन्द कमरे में ख़ामोश बैठी हूँ कब से संग-दिलों को हाल-ए-ग़म क्या सुनाना क़िताब-ए-ज़ीस्त के इक-इक... Poetry Writing Challenge · Ghazal · Iamtrishikadhara · Trishikasdhara · Urduadab · Writtenbytrishikadhara 146 Share Trishika S Dhara 13 Jun 2023 · 1 min read मिरे आगे ज़िक्र-ए-अग़्यार क्यों करते हो मिरे आगे ज़िक्र-ए-अग़्यार क्यों करते हो ख़ामखां मिरा जीना दुश्वार क्यों करते हो कभी-कभार मिरी ख़ैरियत पूछ कर तुम अपना कीमती वक़्त बेकार क्यों करते हो ये आदत तुम्हारी तुम... Poetry Writing Challenge · Ghazal · Iamtrishikadhara · Trishikasdhara · Urduadab · Writtenbytrishikadhara 142 Share Trishika S Dhara 13 Jun 2023 · 1 min read वो रोज़ निकालता है ऐब जहाँ में वो रोज़ निकालता है ऐब जहाँ में सैकड़ों ऐब छुपे हैं जिसके गिरेबां में छोड़ा भी न गया हमसे नशेमन अपना उड़ना भी था हमको खुले आसमाँ में इतराने दो... Poetry Writing Challenge 112 Share Trishika S Dhara 13 Jun 2023 · 1 min read संगदिल लोगों पे जाँ-निसार मत कीजिए संगदिल लोगों पे जाँ-निसार मत कीजिए इनकी ख़ातिर ज़िंदगी दुश्वार मत कीजिए शहद की शीशी में ज़हर भी हो सकता है मीठी-मीठी बातों पे ऐतबार मत कीजिए इश्क़ बा-सफ़ा है... Poetry Writing Challenge · Ghazal · Iamtrishikadhara · Trishikasdhara · Urduadab · Writtenbytrishikadhara 118 Share Trishika S Dhara 13 Jun 2023 · 1 min read बरसों से जिन्हें अपना माना बरसों से जिन्हें अपना माना अब कैसे उन्हें समझूं बेगाना मैं अपनी अना में दूर हो गई दिल को नागवार था दूर जाना क़ाफ़िले में चल के मुमकिन नहीं अपनी... Poetry Writing Challenge · Ghazal · Iamtrishikadhara · Trishikasdhara · Urduadab · Writtenbytrishikadhara 1 107 Share