Deepesh Dwivedi Tag: मुक्तक 5 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Deepesh Dwivedi 14 Sep 2016 · 1 min read इश्क़ का फलसफ़ा मुहब्बत तो इबादत है तिजारत इसको मत कहिए ये जज़बाती हक़ीक़त है ज़रूरत इसको मत कहिए 'चिराग़'इस दिल के काग़ज़ पर लिखे हैं आंसुओं से जो ये हैं जज़्बात रूहानी... Hindi · मुक्तक 1 572 Share Deepesh Dwivedi 12 Sep 2016 · 1 min read हमारी हिंदी नानक कबीर सूर तुलसी बिहारी मीरा जायसी रहीम रसखान की ये भाषा है राजकाज सकल समाज की ये वाणी और भारत के ज्ञान-विज्ञान की ये भाषा है क्यों न परभाषा... Hindi · मुक्तक 1 593 Share Deepesh Dwivedi 11 Aug 2016 · 1 min read विडंबना क्यों कविता पर पहरे लगते?क्यों गीत को कारावास मिले? क्यों सियाराम सतचिदानंद को अनचाहा बनवास मिले? यह यक्षप्रश्न सा मचल रहा है मन के मानसरोवर में, क्यों हंसों को कालापानी... Hindi · मुक्तक 1 727 Share Deepesh Dwivedi 1 Aug 2016 · 1 min read आसरा जिंदगी के हर ज़हर को मय समझकर पी गया, दर्द जब हद से बढ़ा तो होंठ अपने सी गया, मौत कितनी बार मेरे पास आई ऐ"चिराग़", इक तेरे दीदार की... Hindi · मुक्तक 1 350 Share Deepesh Dwivedi 1 Aug 2016 · 1 min read सृजन जब सतरंगी सपना कोई,अक्सर मन को छल जाता है; जब शहनाई के मधुर स्वरों में कोई मुझे बुलाता है; जब दर्द पराया,अपना बन,अन्तर्मन को मथ देता है, तब जन्म ग़ज़ल... Hindi · मुक्तक 2 1 637 Share