avadhoot rathore Tag: मुक्तक 14 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid avadhoot rathore 12 Aug 2017 · 1 min read विविधता अलग-अलग उदधि-लहरें,लगतीं हैं पर यार, हिल-मिल सब संग रहतीं,अलग नहीं है यार, विविध-विविध सा बहुत है,रंग,धर्म अरु जात, विविध-विविध गुलों से ही,शान बाग़ की यार।। Hindi · मुक्तक 1 519 Share avadhoot rathore 26 Jan 2017 · 1 min read माँ भारती माँ भारती की शान में, ग़ुस्ताख़ियाँ होने न दें। ग़ुस्ताख़ की ग़ुस्ताख़ियों, की माफ़ियाँ होने न दें।। हिंदुस्ताँ को तोड़ने की, भी साजिशें हो रहीं, मुस्तैद हों जाँबाजियों को, नींद... Hindi · मुक्तक 1 588 Share avadhoot rathore 7 Nov 2016 · 1 min read माँ की अभिलाषा लाल तू भी काम आजा वीरता की जंग में। नाम तू अपना लिखा दे भारती की जंग में। ज़िंदगी तो मातृ-भू की नेमतों की देन है। क्यों न माँ पे... Hindi · मुक्तक 291 Share avadhoot rathore 28 Sep 2016 · 1 min read क़तअ दर्द दिल का बढ़ा अब दवा दीजिए, अपने दामन की थोड़ी हवा दीजिए , मर्ज बढ़ता ही जाता है रफ्ता रफ्ता , अब दवा की ख़ूराकें बढ़ा दीजिए । Hindi · मुक्तक 370 Share avadhoot rathore 25 Sep 2016 · 1 min read मशविरा दुनिया में सब कुछ पाने की, ख़्वाहिशें जारी रखो, ज़मीं क्या है फलक छूने की, कोशिशें जारी रखो, दम लेना पहुँच कर अवधूत, चाही मंज़िल पर ही, ऐशो इशरत पर... Hindi · मुक्तक 317 Share avadhoot rathore 9 Sep 2016 · 1 min read समय समय बदलते देर न लगती, क्यों खोवे है आस ? नव प्रभात फिर से आवेगा, रख रे ऐसी आस । जब झेलेगा सिर पर अपने, श्रम-घन की तू मार। अवधूत... Hindi · मुक्तक 406 Share avadhoot rathore 7 Sep 2016 · 1 min read ग़मो ख़ुशी रहती नहीं मिठास,ज़ुबाँ पर देर तक, रहती मुई खटास,ज़ुबाँ पर देर तक, ग़मोख़ुशी का मेल,जो काश हो जाता, रहती ग़मोख़ुशियाँ,ज़ुबाँ पर देर तक । Hindi · मुक्तक 397 Share avadhoot rathore 6 Sep 2016 · 1 min read कृष्ण की मुरली मधुबन बजत मुरलि मधुर, सुनि सुनि सुधि बिसारी है। बजाय पुनि पुनि मधुर धुन, स्व वश करत मुरारी है। गृह तजि तजि धाय मोहन, मुरलिधर हाय किते लुके। मुरलि अधर... Hindi · मुक्तक 1 668 Share avadhoot rathore 4 Sep 2016 · 1 min read मासूम क़ातिल क़ातिल कभी मासूम नहीं होता है, मासूम कभी क़ातिल नहीं होता है, मासूम कहीं हो जाए बिसमिल अगर, बिसमिल ख़ूनी,क़ातिल नहीं होता है। Hindi · मुक्तक 308 Share avadhoot rathore 1 Sep 2016 · 1 min read ज़िन्दगी ज़िन्दगी बेवजह हो तो इल्जाम होती है, ज़िन्दगी बावजह हो तो इनाम होती है, जो बना रहे हैं ज़िन्दगी दोजख अवधूत, वो ज़िन्दगी बिलावजह बदनाम होती है। Hindi · मुक्तक 402 Share avadhoot rathore 17 Aug 2016 · 1 min read "श्रीपति दास" पति जैसे जीव का भैया, इस जग में कोई दूसरा सानी नहीं है। पत्नियों ने इसे आज तक, अनदेखा किया हक़ीक़तें मानी नहीं है। खड़ा बगुले सा एक टाँग, बजाने... Hindi · मुक्तक 549 Share avadhoot rathore 8 Aug 2016 · 1 min read मशविरा खाने के मुआमलात में, ज़ुबान काबू रखना। कहने के मुआमलात में, ज़ुबान थामे रखना। बड़ी बेबाक है अवधूत, फिसलती यकायक। बेबाकी करे मनमानी, लगाम बाजू रखना। Hindi · मुक्तक 553 Share avadhoot rathore 7 Aug 2016 · 1 min read जज्बा ए मर्दां मुक्तक,,, तुम्हारा इक इक बोल क़तरा है , शहद का। तुम्हारा इक इक बोल मिसरा है, अहद का। मंज़िल करेगी ख़ैरमक़दम देखना, अवधूत,। तुम्हारा इक इक बोल जजबा है, जहद... Hindi · मुक्तक 336 Share avadhoot rathore 7 Aug 2016 · 1 min read दोस्त मुक्तक अपनापन भरपूर दे,सनेह से दे सींच। दिलदारी भरपूर हो,कठिनाई के बीच। उलाहना ना दे कभी,हरे यार का दर्द। मिले तो आतुरता से,बहियों में ले भींच। Hindi · मुक्तक 1 544 Share