Sahityapedia
Sign in
Home
Your Posts
QuoteWriter
Account
21 Sep 2017 · 1 min read

बेउम्मीद मुसाफ़िर

ज़लज़ला न कहो मुझे…
अभी आग की जरूरत हैं!
शायर न कहो मुझे….
अभी शब्दों की जरूरत हैं!
मै इश्क की इस दुनिया का …
बेउमीद एक मुसाफ़िर हूँ!
देवदास न कहो मुझे…
अभी ग़मो की जरूरत हैं!!!
–सीरवी प्रकाश पंवार

Loading...