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1 Mar 2017 · 1 min read

बसंत आया है।

फूलों की महक पत्तों की चहक
कलियों ने भी गाया है
अरे बसंत आया है ।
भौंरो की चहल पहल से
सारा जग गुनगुनाया है
अरे बसंत आया है।
बागों की बहार कलियों मे निखार
चाँद भी निकल आया है
अरे बसंत आया है।

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