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25 Nov 2016 · 1 min read

बिना मेरे अधूरी तुम..

मेरा हर सुर अधूरा हैं, अधूरी गीत की हर धुन,
स्वप्न वो तुम नहीं जिसमे, कभी सकता नहीं मैं बुन
कोई रिश्ता नहीं तुमसे, मगर अहसास ऐसा हैं;
बिना मेरे अधूरी तुम, अधूरा मैं तुम्हारे बिन ..

– नीरज चौहान

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