/-- हिन्दी --/

/– हिन्दी –/
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हम भारत के वासी हैं
हिन्दी हम सब की बोली है
शब्दों में रस घोली है
हिन्दी मिश्री की गोली है
ईद, दशहरा, होली है
हिन्दी उत्सव की रंगोली है
सरस,सरल,मृदु,भोली है
हिन्दी लय,सुर,ताल,ठिठोली है
हर दौर में नापी तौली है
हिन्दी की समृद्धि झोली है
‘चुन्नू’ इतनी क्यों टाल मटोली है
जब हिन्दी जन-जन की बोली है
•••• कलमकार ••••
चुन्नू लाल गुप्ता-मऊ ✍️