Happy woman's day ही क्यूं happy man's day क्यूं नहीं

Happy woman’s day ही क्यूं happy man’s day क्यूं नहीं
बहाने चाहे कितने ही बना लें हम पर बराबर तो हमने अपने आप को स्वयं ही माना नहीं
अपवाद की महिलाओं को छोड़कर कोई कह दे किसी महिला ने कसी महिला को छला नहीं
कोई पूरूष कभी किसी महिला का अकेले दमन नहीं करता एक महिला ने ही एक महिला को कभी में सहा नहीं।