किसी अंधेरी कोठरी में बैठा वो एक ब्रम्हराक्षस जो जानता है सब
बेवजह बदनाम हुए तेरे शहर में हम
गुज़र गयी है जिंदगी की जो मुश्किल घड़ियां।।
Prabhu Nath Chaturvedi "कश्यप"
*परिमल पंचपदी--- नवीन विधा*
रामनाथ साहू 'ननकी' (छ.ग.)
मैं उन लोगों से उम्मीद भी नहीं रखता हूं जो केवल मतलब के लिए
*देना प्रभु जी स्वस्थ तन, जब तक जीवित प्राण(कुंडलिया )*
इन दिनों कुछ समझ में नहीं आ रहा है जिंदगी मुझे कहा ले जा रही
परीक्षा
डॉ राजेंद्र सिंह स्वच्छंद
“Do not be afraid of your difficulties. Do not wish you coul
6. That
Santosh Khanna (world record holder)
जेल डायरी (शेर सिंह राणा)
23. *बेटी संग ख्वाबों में जी लूं*
जिंदगी है कोई मांगा हुआ अखबार नहीं ।
जनहित में अगर उसका, कुछ काम नहीं होता।