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10 Oct 2024 · 1 min read

यूँ ही बेमौसम बरसात हुई।

यूँ ही बेमौसम बरसात हुई।
बिना कहे फिर दिन से रात हुई।।
गये वक्त का मलाल नहीं मुझे,
बहुत देर तक खुद से बात हुई।।

— ननकी

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