Sahityapedia
Sign in
Home
Your Posts
QuoteWriter
Account
24 Sep 2024 · 1 min read

सरसी छन्द

जब जब याद तुम्हारी आई,
हुआ बुरा ही हाल

भूल गई मैं सांसे लेना
जीना हुआ मुहाल ||

तुम ही जीवन मेरी पूजा,
हे मेरे गोपाल

मेरे माधौ गिरवर धारी ,
आओ अब हर हाल ||

लीला तेरी माखन चोरी ,
कहूँ मैं नीति ज्ञान

चक्र सुदर्शन धारी माधौ ,
तुम सर्वशक्तिमान ||

साजिश ये कथा वाचकों की ,
वर्णित केवल रास

महा बलशाली कुशल योद्धा,
बना दिया परिहास ||

Loading...