Sahityapedia
Sign in
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
2 May 2024 · 1 min read

ज़बान

ज़बान का जो खरा नहीं है!
यक़ीन उसपे ज़रा नहीं है!!

लगे असंभव उसे हराना!
जो आंधियों से डरा नहीं है!!

समझ सके ना किसी की पीड़ा!
के’ ज़ख्म जिनका हरा नहीं है!!

लहू हमारा लो’ पी रहा वो!
गुनाह से दिल भरा नहीं है!!

रहे मुसाफ़िर सदा शिखर पे!
ज़मीर जिसका मरा नहीं है!!

धर्मेंद्र अरोड़ा”मुसाफ़िर”
संपर्क सूत्र:9034376051

Language: Hindi
147 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.

You may also like these posts

प्रसन्न रहने का एकमात्र उपाय यही है कि किसी से अपेक्षा और कि
प्रसन्न रहने का एकमात्र उपाय यही है कि किसी से अपेक्षा और कि
ललकार भारद्वाज
धर्म के परदे  के   पीछे,  छुप   रहे    हैं  राजदाँ।
धर्म के परदे के पीछे, छुप रहे हैं राजदाँ।
दीपक झा रुद्रा
B52 - Nơi giải trí hàng đầu, thách thức mọi giới hạn với nhữ
B52 - Nơi giải trí hàng đầu, thách thức mọi giới hạn với nhữ
B52
जिस नारी ने जन्म दिया
जिस नारी ने जन्म दिया
VINOD CHAUHAN
जो लड़कियां केवल अपने सौंदर्य को चमकाती है।
जो लड़कियां केवल अपने सौंदर्य को चमकाती है।
Rj Anand Prajapati
जीवन रूपी टेस्ट
जीवन रूपी टेस्ट
*प्रणय प्रभात*
अजीब लड़की
अजीब लड़की
Kshma Urmila
4696.*पूर्णिका*
4696.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
चीं-चीं करती गौरैया को, फिर से हमें बुलाना है।
चीं-चीं करती गौरैया को, फिर से हमें बुलाना है।
अटल मुरादाबादी(ओज व व्यंग्य )
बिल्ली
बिल्ली
Vijay kumar Pandey
तन अर्पण मन अर्पण
तन अर्पण मन अर्पण
विकास शुक्ल
दुःख बांटने से दुःख ही मिलता है
दुःख बांटने से दुःख ही मिलता है
सोनम पुनीत दुबे "सौम्या"
ग़ज़ल- जज़्बात से खेला...
ग़ज़ल- जज़्बात से खेला...
आकाश महेशपुरी
नव वर्ष की सच्चाई......
नव वर्ष की सच्चाई......
पूर्वार्थ देव
गुलामी क़बूल नहीं
गुलामी क़बूल नहीं
Shekhar Chandra Mitra
जीत कर तुमसे
जीत कर तुमसे
Dr fauzia Naseem shad
नाइजीरिया में हिंदी
नाइजीरिया में हिंदी
Shashi Mahajan
हमारी माँ
हमारी माँ
Pushpa Tiwari
तेरी मेरी ज़िंदगी की कहानी बड़ी पुरानी है,
तेरी मेरी ज़िंदगी की कहानी बड़ी पुरानी है,
डॉ. शशांक शर्मा "रईस"
अविभाज्य का विभाजन
अविभाज्य का विभाजन
Anuj Rana
हर पल तुमको खोने का डर...
हर पल तुमको खोने का डर...
डॉ.सीमा अग्रवाल
यमराज मेरा यार
यमराज मेरा यार
Sudhir srivastava
दोहा त्रयी. . . . मजबूरी
दोहा त्रयी. . . . मजबूरी
sushil sarna
मुझे
मुझे
हिमांशु Kulshrestha
शिव आराधना
शिव आराधना
Kumud Srivastava
मीठी मुस्कान
मीठी मुस्कान
Rambali Mishra
तू कल बहुत पछतायेगा
तू कल बहुत पछतायेगा
Vishnu Prasad 'panchotiya'
आखिर इतना गुस्सा क्यों ? (ग़ज़ल )
आखिर इतना गुस्सा क्यों ? (ग़ज़ल )
ओनिका सेतिया 'अनु '
" पतंग "
Dr. Kishan tandon kranti
क़दमों को जिसने चलना सिखाया, उसे अग्नि जो ग्रास बना गया।
क़दमों को जिसने चलना सिखाया, उसे अग्नि जो ग्रास बना गया।
Manisha Manjari
Loading...