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27 Jan 2024 · 1 min read

देश में क्या हो रहा है?

देश में ये क्या हो रहा है ?
राजनीति का स्तर गिर रहा है!

पक्ष विपक्ष गरिमा गिरा रहा है!
देश की गरिमा गिरा रहा है!

प्रजातंत्र का लुटिया डुबा रहा है!
प्रजा का विश्वास डगमगा रहा है!

झूठ का व्यापार हो रहा है!
देश की इज्जत निलाम हो रहा है!

बुद्धिजीवी चाटुकार बन रहा है!
पत्रकारिता गुलामी के गीत गा रहा है!

गांधी-नेहरु को खल बना रहा है!
गोडसे अब राम बन रहा है!

धर्म से अब चुनाव लड़ा जा रहा है!
संविधान से मजाक किया जा रहा है!

देश में ये क्या हो रहा है!
रामा देश से राजनीति हो रहा है!

स्वरचित © सर्वाधिकार रचनाकाराधीन

रचनाकार-आचार्य रामानंद मंडल सामाजिक चिंतक सीतामढ़ी।

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