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15 Jan 2023 · 1 min read

या' रब तेरे जहान के

चुभते हुए इस दिल में
सवालात कितने हैं ।
या”रब तेरे जहान के
निगहबान कितने हैं ।।
सोचोगे ग़र कभी तो
सोचा न जायेगा ।
इंसानों की इस भीड़ में
इंसान कितने हैं ।।

डाॅ फौज़िया नसीम शाद

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