Sahityapedia
Sign in
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
1 Aug 2022 · 1 min read

रुक-रुक बरस रहे मतवारे / (सावन गीत)

रुक-रुक
बरस रहे मतवारे ।

घरर-घरर
ध्वनि उत्तर आती,
सरर-सरर
सर दक्षिण जाती ।

नैना
तरस रहे कजरारे ।

टप-टप
पूरब बूँद छलकती,
रस-रस
पश्चिम देह सँवरती ।

नभ में
सरस रहे घुँघरारे ।

रह-रह
डाबर,कूप उभरते,
झर-झर
झरने,ताल उछलते ।

खच-खच
कीच मची गलियारे ।

रुक-रुक
बरस रहे मतवारे ।
०००
— ईश्वर दयाल गोस्वामी
छिरारी (रहली),सागर
मध्यप्रदेश ।

Language: Hindi
Tag: गीत
11 Likes · 6 Comments · 486 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from ईश्वर दयाल गोस्वामी
View all

You may also like these posts

*डॉक्टर किशोरी लाल (नेत्र रोग विशेषज्ञ)*
*डॉक्टर किशोरी लाल (नेत्र रोग विशेषज्ञ)*
Ravi Prakash
मेरी मां।
मेरी मां।
Taj Mohammad
कभी बैठकर सोचते हैं,
कभी बैठकर सोचते हैं,
Abhilesh sribharti अभिलेश श्रीभारती
Feeling of a Female
Feeling of a Female
Rachana
*मेरी रचना*
*मेरी रचना*
Santosh kumar Miri
सबसे बड़ा घुटन का वजह पता है क्या है
सबसे बड़ा घुटन का वजह पता है क्या है
पूर्वार्थ देव
कितना
कितना
Santosh Shrivastava
4740.*पूर्णिका*
4740.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
*खत्म हो आतंक-आतंकी*
*खत्म हो आतंक-आतंकी*
Dushyant Kumar
करन के आवारा शेर
करन के आवारा शेर
omveerkaran
उफ ये खुदा ने क्या सूरत बनाई है
उफ ये खुदा ने क्या सूरत बनाई है
Shinde Poonam
"शब्द"
Dr. Kishan tandon kranti
The Breath
The Breath
Otteri Selvakumar
GOD BLESS EVERYONE
GOD BLESS EVERYONE
Baldev Chauhan
माना कि हम बेवफा हैं, 2 पर ए मेरे यार तुम तो बेवफा ना थे।
माना कि हम बेवफा हैं, 2 पर ए मेरे यार तुम तो बेवफा ना थे।
Annu Gurjar
घर·घर में अब विभिषण सारे लोग हो गए
घर·घर में अब विभिषण सारे लोग हो गए
सुखविंद्र सिंह मनसीरत
देखा है
देखा है
RAMESH Kumar
स्वयं का स्वयं पर
स्वयं का स्वयं पर
©️ दामिनी नारायण सिंह
🍀🪐🪧 SUCCESS
🍀🪐🪧 SUCCESS
पूर्वार्थ
*मां से अनकही बातें*
*मां से अनकही बातें*
सुरेन्द्र शर्मा 'शिव'
छन्द गीतिका
छन्द गीतिका
Ashwani Kumar
हमारे जैसी दुनिया
हमारे जैसी दुनिया
Sangeeta Beniwal
संवेदना
संवेदना
Shalini Mishra Tiwari
उपमा आर्य
उपमा आर्य "सहर "व्यक्तित्व एवं कृतित्व
डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम
जो मेरे लफ्ज़ न समझ पाए,
जो मेरे लफ्ज़ न समझ पाए,
ब्रजनंदन कुमार 'विमल'
#राम अभी लौटे नहीं
#राम अभी लौटे नहीं
वेदप्रकाश लाम्बा लाम्बा जी
रस्ता मिला न मंज़िल रहबर की रहबरी में
रस्ता मिला न मंज़िल रहबर की रहबरी में
Khalid Nadeem Budauni
नदी की करुण पुकार
नदी की करुण पुकार
Anil Kumar Mishra
22. We, a Republic !
22. We, a Republic !
Ahtesham Ahmad
“ऐसी दोस्ती”
“ऐसी दोस्ती”
DrLakshman Jha Parimal
Loading...