Sahityapedia
Sign in
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
9 Oct 2021 · 1 min read

बेलूरा ब्यास गवैया हो गइलन?

बेलूरा ब्यास गवैया हो गइलन?

कहेम केकरा से हमनी के लाज लागे,
बाकी होखनी के कौनो लाज नैखे?
गावे के कुछो त गावतारे कुछो
सबे बेलूरा व्यास गवैया हो गइलन?

गाना अइसन अइसन की
बेटी पुतोहू के संगे सुने मे लाज लागे
भोजपूरी गाना गंदा कर दिहलस एतना?
की आब त सब जाना के कहे मे लाज लागे?

लोहा गरम, जाता नइखे, पिछबा स मारेब तअ?
हइ बताबअ लोगन अइसने गंदा इनकर गीत ह?
रात बिरात स्टार बने के चक्कर मे,
भोजपुरी गायक सब लोक लाज भूला गइलन?

दुनू इंडिकेटर त निचबा कइसन होई
बताबअ आजकल इहे इनकर गीत सब हबें?
दादा हो दादा तनिको लाज बाटे की ना गवैया के?
बाकी आब त पोर्नो वला के भोजपूरी से लाज होखे लागल?

ए मर्दे तूं लोगन अपना के व्यास कहअ तारअ
भोजपूरी गाना हो की दुगोला होखे?
सभे गंदा गंदा बोल गावे बजाबे लगलन?
बेलूरा ब्यास बाड़ें उ सब स्टार कहाबे लगलन?

कवि-किशन कारीगर
(©काॅपीराईट)

Language: Bhojpuri
2 Likes · 467 Views
Books from Dr. Kishan Karigar
View all

You may also like these posts

Need Someone to Write My Assignment for Me in the UK? MyAssignmentHelp.co.uk Has You Covered!
Need Someone to Write My Assignment for Me in the UK? MyAssignmentHelp.co.uk Has You Covered!
Ross William
गरीबी
गरीबी
Kanchan Alok Malu
आंगन की फुलवारी
आंगन की फुलवारी
Swami Ganganiya
मां जो है तो है जग सारा
मां जो है तो है जग सारा
Jatashankar Prajapati
“अधूरी नज़्म”
“अधूरी नज़्म”
Meenakshi Masoom
स्वतंत्रता दिवस पर विशेष
स्वतंत्रता दिवस पर विशेष
पूनम दीक्षित
साँची सीख
साँची सीख
C S Santoshi
भारत इकलौता ऐसा देश है जहां लड़के पहले इंजीनियर बन जाते है फ
भारत इकलौता ऐसा देश है जहां लड़के पहले इंजीनियर बन जाते है फ
ब्रजनंदन कुमार 'विमल'
........
........
शेखर सिंह
अल्फाजों मे रूह मेरी,
अल्फाजों मे रूह मेरी,
हिमांशु Kulshrestha
दीया इल्म का कोई भी तूफा बुझा नहीं सकता।
दीया इल्म का कोई भी तूफा बुझा नहीं सकता।
Phool gufran
**तुझे ख़ुशी..मुझे गम **
**तुझे ख़ुशी..मुझे गम **
गायक - लेखक अजीत कुमार तलवार
शेर ग़ज़ल
शेर ग़ज़ल
डॉ सगीर अहमद सिद्दीकी Dr SAGHEER AHMAD
तेरी वफाएं जब मेरा दिल तोड़ जाती है
तेरी वफाएं जब मेरा दिल तोड़ जाती है
डॉ. शशांक शर्मा "रईस"
अदालत
अदालत
सिद्धार्थ गोरखपुरी
शंकरलाल द्विवेदी द्वारा लिखित मुक्तक काव्य।
शंकरलाल द्विवेदी द्वारा लिखित मुक्तक काव्य।
Shankar lal Dwivedi (1941-81)
*चलो अयोध्या रामलला के, दर्शन करने चलते हैं (भक्ति गीत)*
*चलो अयोध्या रामलला के, दर्शन करने चलते हैं (भक्ति गीत)*
Ravi Prakash
" ज़ेल नईखे सरल "
Chunnu Lal Gupta
कमरा उदास था
कमरा उदास था
Shweta Soni
रहें फसल के बीच में,जैसे खरपतवार
रहें फसल के बीच में,जैसे खरपतवार
RAMESH SHARMA
मेरी कलम से…
मेरी कलम से…
Anand Kumar
ग़ज़ल
ग़ज़ल
आर.एस. 'प्रीतम'
प्रेम
प्रेम
Shyam Sundar Subramanian
कली
कली
PRATIBHA ARYA (प्रतिभा आर्य )
सरफिरे ख़्वाब
सरफिरे ख़्वाब
Shally Vij
अरे रामलला दशरथ नंदन
अरे रामलला दशरथ नंदन
Neeraj Mishra " नीर "
वो ही तो यहाँ बदनाम प्यार को करते हैं
वो ही तो यहाँ बदनाम प्यार को करते हैं
gurudeenverma198
सुप्त तरुण निज मातृभूमि को हीन बनाकर के विभेद दें।
सुप्त तरुण निज मातृभूमि को हीन बनाकर के विभेद दें।
Pt. Brajesh Kumar Nayak / पं बृजेश कुमार नायक
जिंदगी उधार की, रास्ते पर आ गई है
जिंदगी उधार की, रास्ते पर आ गई है
Smriti Singh
स्वार्थ चाहे किसी भी प्रकार का हो, हमेशा दुखदाई होता है। अतः
स्वार्थ चाहे किसी भी प्रकार का हो, हमेशा दुखदाई होता है। अतः
गौ नंदिनी डॉ विमला महरिया मौज
Loading...