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24 Jun 2021 · 1 min read

अनुपम कृति -1

माटि चानर रतन फैलबैत उजियारा
श्यामल श्यामल गंगा कमला अनुपम धारा
माय आंखि हर्षित नोर जल
माटि कें लाल अनुपम कृति

सोन जडित देवभूमि विख्याता
राजा जनक जननी जानकी माता
पावन पवित्र धरती माता
जग जग जानत अनुपम कृति

ऐसन नगर ऐसन नव नगरी
आनो के पाहुन मानी जकड़ी
प्रेम सभ्यता संस्कार शिक्षा
नत मस्तक अनुपम कृति

बाबा आगन आबि जतय
जगेश्वर मन मन इठलत
क्रोध मन कहैय सिमट
याज्ञवल्क्य,यात्री,दिनकर,रेनू,अनुपम कृति

मस्तक हिमगिरि मुकुट चानसन
नित नयन नभ पुष्पवरसित
भारती मण्डन,सिरहपा,अयाची,कालिदास
संस्कार ज्ञान गढ़ अनुपम कृति

धन धन सुहज सफल मोर तप जन्म
पाओल पाहुन राम छायांकित छाया
जय-जय आँचल में सदिखन कृति रचैत लाल,
धन धन अनुपम कृति

मौलिक एवं स्वरचित
© श्रीहर्ष आचार्य

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